शेन वॉर्न की फिरकी को समझ पाना किसी भी बल्लेबाज लिए आसान नहीं था. वॉर्नबड़ी आसानी से बल्लेबाजों को अपने जाल में फंसाकर आउट करते थे. गेंद को स्पिन करानेमें उन्हें महारत हासिल थी. बावजूद इसके, ऑस्ट्रेलियाई दिग्गज स्पिनर का सिक्कासचिन के आगे नहीं चलता था. सचिन का वॉर्न पर दबदबा रहा. हालांकि उन्होंने सचिन कोआउट भी किया. लेकिन ज्यादातर मौकों पर सचिन ने वॉर्न की पिटाई की. 2017 में इंडियाटुडे द्वारा आयोजित सलाम क्रिकेट में जब शेन वॉर्न से पूछा गया कि उनकी नजर मेंस्पिन को बेहतर खेलने वाले बल्लेबाज कौन हैं? तो इसका जवाब देते हुए वॉर्न ने एकक़िस्सा सुनाया. ये क़िस्सा 1998 में भारत-ऑस्ट्रेलिया सीरीज का था. शेन वॉर्न कहतेहैं, 'शायद ये 1998 सीरीज की बात है. हम दोनों करियर के पीक पर थे. मुझे याद है,जैसे ही सचिन बल्लेबाजी के लिए आया तो पूरा स्टेडियम सचिन-सचिन से गूंज रहा था. टीमहडल में मैंने कहा कि मैं सचिन को आउट करूंगा. पहली गेंद जो मैंने सचिन को डाली. उसपर उसने शानदार चौका लगाया. लेकिन तीसरी या शायद चौथी गेंद ने सचिन के बल्ले केबाहरी किनारे को छुआ और स्लिप में मार्क टेलर ने कैच लपक लिया. सचिन के आउट होते हीस्टेडियम एकदम शांत. मैं हैरान था. इससे पहले सिर्फ तीन गेंदों में मैंने कभी भीदर्शकों को लाउड से एकदम शांत होते हुए नहीं देखा था.' बता दें कि पहली पारी मेंसचिन तेंडुलकर को आउट करने में शेन वॉर्न भले ही कामयाब हुए. लेकिन दूसरी पारी मेंमास्टर ब्लास्टर ने ऑस्ट्रेलिया की गेंदबाजी अटैक की धज्जियां उड़ा दी. उन्होंने 158रन की पारी खेली थी. सचिन की उस पारी का जिक्र करते हुए वॉर्न कहते हैं, 'और अगलीपारी में सचिन ने सबसे बेस्ट ऑस्ट्रेलियन अटैक के सामने 158 रन की पारी खेली. जोमेरे ख्याल से सचिन की सबसे महान पारी थी. मैंने उससे बेहतर शतक ऑस्ट्रेलियन अटैकके सामने नहीं देखा था.' इसके बाद जब राजदीप सरदेसाई ने पूछा. कि क्या हम ये मानलें कि स्पिन गेंदबाजी को खेलने वाले सबसे बेस्ट बल्लेबाज सचिन ही थे? तो शेन वॉर्नइस पर कहते हैं, 'उस भारतीय बल्लेबाजी क्रम को देखें तो सचिन, गांगुली, द्रविड़,लक्ष्मण और सहवाग थे. जो कि स्पिन को बेहतर तरीके से खेलते थे. उन पांचों के बाद हीआप किसी का नाम ले सकते हैं. विराट कोहली एक अलग मुद्दा हो सकते हैं. लेकिन वेखिलाड़ी स्पिन के बेस्ट बल्लेबाज थे. मौजूदा इंडियन टीम में मुझे स्पिन का एक भीबढ़िया बल्लेबाज नजर नहीं आता है. ये अच्छे खिलाड़ी हैं. लेकिन सचिन, द्रविड़,गांगुली, लक्ष्मण और सहवाग की तुलना में कहीं नहीं ठहरते हैं.' बता दें कि शेनवॉर्न का प्रदर्शन भारत में भारत के खिलाफ कुछ ख़ास नहीं रहा. उन्होंने भारत केखिलाफ नौ मुकाबलों में 34 विकेट हासिल किए थे. जिसमें एक बार ही फाइव विकेट हॉल लेसके. वॉर्न का 52 साल की उम्र में 4 मार्च 2022 को निधन हो गया.