The Lallantop
X
Advertisement
  • Home
  • News
  • ram mandir ayodhya champat rai...

राम मंदिर का ग्राउंड फ्लोर तैयार, 44 गेट, अस्पताल, लिफ्ट सब होगा... पर पता है कहां-क्या बनेगा?

Ayodhya के Ram Mandir का ग्राउंड फ्लोर तैयार हो चुका है, पूर्वी दिशा में प्रवेश द्वार होगा. कितना हिस्सा हरित क्षेत्र होगा, कितनी सीढ़ियां होंगी? राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने बताया अयोध्या परिसर में कहां-क्या होगा?

Advertisement
ram mandir construction ayodhya
राम मंदिर निर्माण को लेकर कई तरह के जवाब मिले हैं | फाइल फोटो: PTI/इंडिया टुडे
pic
अभय शर्मा
27 दिसंबर 2023 (Updated: 27 दिसंबर 2023, 16:26 IST)
font-size
Small
Medium
Large
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share

अयोध्या में राम मंदिर (Ayodhya Ram Mandir) लगभग बनकर तैयार हो गया है. मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी, 2024 को होनी है. इसको लेकर अयोध्या में तैयारियां जोरों पर चल रही हैं. राम मंदिर के उद्घाटन की तारीख करीब आते ही इसको लेकर लोगों में उत्सुकता बढ़ रही है. कहां मंदिर का निर्माण हो रहा है? कितना निर्माण हो गया है? और मंदिर में कैसे प्रवेश मिलेगा? वगैरह-वगैरह… ऐसे कई सवालों को लेकर राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय (Champat rai) ने बड़ी जानकारी साझा की है. उन्होंने बताया कि मंदिर का ग्राउंड फ्लोर तैयार हो चुका है और फर्स्ट फ्लोर पर निर्माण कार्य चल रहा है. राम जन्मभूमि परिसर 70 एकड़ में फैला हुआ है फिर क्यों छोटे से भाग में मंदिर का निर्माण कराया जा रहा है? इस पर भी चंपत राय ने जवाब दिया है.

न्यूज़ एजेंसी ANI की रिपोर्ट के मुताबिक मंगलवार, 26 दिसंबर को चंपत राय ने राम मंदिर परिसर का मानचित्र मीडिया को दिखाया.

इसे समझाते हुए उन्होंने बताया,

“70 एकड़ के उत्तरी हिस्से में मंदिर बन रहा है. यह भाग काफी छोटा है. लोग बड़े भाग में भी मंदिर बनाए जाने की बात कह सकते हैं. लेकिन, उनके लिए ये जानना जरूरी है कि राम जन्मभूमि के जिस क्षेत्र के लिए सालों तक आंदोलन चला, वहीं पर मंदिर का निर्माण किया गया है. इस जगह पर तीन मंजिला मंदिर बन रहा है. इसका ग्राउंड फ्लोर तैयार हो चुका है और फर्स्ट फ्लोर पर निर्माण कार्य चल रहा है. इसके अलावा मंदिर की जो मैन बाउंड्री होगी, उसका भी निर्माण किया जा रहा है.”

राय आगे बोले,

'मंदिर के दक्षिण में हनुमान जी का मंदिर होगा. वहीं उत्तरी भाग में माता अन्नपूर्णा का मंदिर बनेगा. परकोटे का निर्माण चल रहा है. इसको पूरी तरह से बनने में 6 से 8 महीने का समय और लग सकता है.'

ये भी पढ़ें:- राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा में शामिल होंगे सचिन और विराट

Ram Mandir में 70 प्रतिशत हिस्सा हरित क्षेत्र 

चंपत राय ने श्री राम जन्मभूमि मंदिर परिसर के मानचित्र को समझाते हुए ये भी बताया कि राम मंदिर के अलावा परिसर में कई और मंदिर भी बनेंगे. उन्होंने कहा,

'मई 2022 से इस मंदिर का निर्माण कार्य शुरू हुआ था. राजस्थान के बंसी पहाड़पुर का गुलाबी सैंडस्टोन लग रहा है. फ्लोर पर मकराना मार्बल और गर्भगृह में श्वेत मार्बल लग रहा है. मंदिर नीचे से खोखला नहीं है. मंदिर और परकोटा दोनों की आयु एक हजार साल है. निर्माण में 22 लाख क्यूबिक पत्थर का प्रयोग होगा… परिसर में अगले 7-8 महीनों में कुछ और मंदिर भी बनेंगे, जिनमें महर्षि वाल्मीकि, वशिष्ठ, विश्वामित्र, अगस्त्य, निषाद राज, शबरी और अहिल्या का मंदिर का शामिल है. मंदिर के एक कोने पर सूर्य मंदिर और दूसरे कोने पर शिव जी का मंदिर होगा. परिसर में जटायु स्थापित कर दिए गए हैं.

राय के मुताबिक राम मंदिर परिसर में कुल 392 खंभे होंगे. मंदिर का परकोटा 732 मीटर तक फैला होगा. इसकी परिधि 14 फीट चौड़ी होगी. इसके अलावा मंदिर परिसर का 70 प्रतिशत हिस्सा हरित क्षेत्र होगा. हालांकि, अभी 70 में से 20 एकड़ में ही निर्माण कार्य चल रहा है.

ये भी पढ़ें:- अयोध्या में बन रहे राम मंदिर के अंदर की गजब तस्वीरें आईं

Ram Mandir में तीर्थ यात्रियों के लिए जबर व्यवस्था

राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव ने तीर्थ यात्रियों के लिए की जा रही व्यवस्था के बारे में भी जानकारी दी. उन्होंने बताया कि मंदिर परिसर में तीर्थ यात्रियों के लिए कई तरह की व्यवस्था की गई हैं. इसमें एक साथ 25 हजार तीर्थयात्रियों के सामान को रखने के लिए लॉकर, पानी, शौचालय, अस्पताल की व्यवस्था की जा रही है. राय ने कहा कि प्रभु रामलला के दर्शन के लिए भक्तों को 33 सीढ़ी चढ़ना पड़ेगा. इसके बाद वे मुख्य धाम तक पहुंचेंगे. दिव्यांग जनों के लिए मंदिर के पश्चिमी भाग में लिफ्ट की भी व्यवस्था रहेगी. उनके मुताबिक राम मंदिर परिसर के भीतर अलग-अलग 44 द्वार बनाए गए हैं. मंदिर में पूर्वी दिशा से श्रद्धालुओं को प्रवेश कराया जाएगा. रामलला के दर्शन करने के बाद भक्त दक्षिणी दिशा से बाहर निकल सकेंगे.

प्रेस कांफ्रेंस के दौरान राय ने ये भी जानकारी दी कि नगर निगम पर दबाव नहीं बढ़े, इसके लिए दो सीवर ट्रीटमेंट प्लांट बनाए गए हैं. जीरो डिस्चार्ज की व्यवस्था है. राम मंदिर परिसर में बिजली की भी आत्मनिर्भरता है.

वीडियो: इंदौर में 21 टन आयरन स्क्रैप से राम मंदिर रेप्लिका तैयार कर दी, 90 दिन में कैसे हुआ कमाल?

Comments
thumbnail

इस पोस्ट से जुड़े हुए हैशटैग्स

Advertisement

Advertisement