The Lallantop
Advertisement
  • Home
  • News
  • qatar ex indian navy officials...

कतर से पूर्व भारतीय नौसैनिकों को जल्दी रिहा कराइए... कहने वाली कांग्रेस ने अब क्या बोला है?

Navy Veterans released: मोदी सरकार पर कतर (Qatar) से भारतीय नेवी के 8 पूर्व अफसरों को जल्द छुड़वाने का दबाव Congress ने भी बनाया था. अब इन अफसरों की आजादी पर कांग्रेस की प्रतिक्रिया आई है

Advertisement
congress on ex navy officials released from qatar jail modi government jairam ramesh
जयराम रमेश ने मामले पर ट्वीट किया है (फोटो- आजतक)
pic
ज्योति जोशी
12 फ़रवरी 2024 (Updated: 12 फ़रवरी 2024, 10:22 IST)
font-size
Small
Medium
Large
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share

कतर (Qatar) की जेल में बंद आठ पूर्व भारतीय नेवी अफसरों की रिहाई हो चुकी है (Navy Veterans released in Qatar). भारत लौटने पर उन्होंने सरकार और PM मोदी को धन्यवाद किया है. बोले कि PM के व्यक्तिगत हस्तक्षेप और कतर के साथ उनके समीकरण के बिना रिहाई संभव नहीं होती. इस बीच मामले पर कांग्रेस (Congress) की प्रतिक्रिया भी सामने आई है.

कांग्रेस सांसद जयराम रमेश ने एक पोस्ट में लिखा,

सभी देशवासियों के साथ भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस भी खुद को इस खुशी में शामिल करती है कि कतर में कोर्ट से फांसी की सजा पाने वाले भारतीय नौसेना के आठ पूर्व अफसर रिहा होकर घर वापस आ गए हैं. हम उन्हें और उनके परिवारजनों को बधाई और शुभकामनाएं देते हैं.

बता दें, कतर की अदालत ने पिछले साल 26 अक्टूबर को जासूसी के आरोप लगाकर इन पूर्व अधिकारियों को फांसी की सजा सुनाई थी. तब कांग्रेस की तरफ से भी भारत सरकार पर हस्तक्षेप करने का दबाव बनाया गया था. तब जयराम रमेश ने लिखा था,

कांग्रेस उम्मीद करती है कि भारत सरकार कतर सरकार के साथ अपने राजनयिक और राजनीतिक प्रभाव का ज्यादा से ज्यादा इस्तेमाल करेगी, ताकि ये सुनिश्चित किया जा सके कि अधिकारियों को अपील का पूरा सहारा मिले. उन्हें जल्द से जल्द रिहा कराने के लिए भी हरसंभव कोशिश की जाए.

इसके अलावा दिसंबर में कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने अधिकारियों की स्थिति पर चर्चा के लिए लोकसभा में स्थगन प्रस्ताव नोटिस दिया था.

Qatar में क्या हुआ था?

कतर की इंटेलिजेंस एजेंसी ‘स्टेट सिक्योरिटी ब्यूरो’ ने आठों पूर्व अधिकारियों को जासूसी के आरोप में 30 अगस्त, 2022 को गिरफ्तार किया था. आरोप क्या थे, ये बात कतर ने सार्वजनिक नहीं की. कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि उन पर कतर के सबमरीन प्रोग्राम की गोपनीय जानकारी इजरायल के साथ साझा करने का आरोप लगा है. इसके बाद कतर की अदालत ने 26 अक्टूबर को अधिकारियों को फांसी की सजा सुनाई थी.

ये भी पढ़ें- कतर से लौटे पूर्व नेवी अधिकारी जिस कंपनी में थे वो करती क्या है?

इसके बाद इस मामले में भारत सरकार ने हस्तक्षेप किया. दिसंबर 2023 में भारत के अनुरोध पर उनकी सजा को कतर के अमीर ने उम्रकैद में बदल दिया था. और अब उन्हें रिहा कर दिया गया है.

वीडियो: आसान भाषा में: इंडियन नेवी आधे घंटे लेट होती तो लक्षद्वीप हाथ से निकल जाता

Comments
thumbnail

Advertisement

Advertisement