ममता ने शर्तों के साथ आखिरी बार डॉक्टर्स को बातचीत का 'आखिरी न्यौता' भेजा
Kolkata Rape and Murder Case: पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव मनोज पंत ने जूनियर डॉक्टरों को पत्र लिखकर सीएम आवास पर बातचीत करने के लिए आमंत्रित किया है. उन्होंने कहा कि मीटिंग की कोई लाइव स्ट्रीमिंग या वीडियोग्राफी नहीं होगी, इसके बजाय, बैठक के मिनट्स को रिकॉर्ड किया जाएगा.
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कोलकाता रेप-मर्डर मामले में प्रदर्शन कर रहे डॉक्टरों को एक बार फिर बातचीत के लिए बुलाया है. ये मीटिंग उनके आवास पर शाम 5 बजे होनी है. राज्य के मुख्य सचिव मनोज पंत ने जूनियर डॉक्टरों को पत्र लिखकर सीएम आवास पर बातचीत करने के लिए आमंत्रित किया है. लेकिन इस बैठक के लिए सरकार की ओर से कुछ शर्ते भी रखी गई हैं.
इंडियन एक्सप्रेस के रिपोर्ट के मुताबिक, सोमवार 16 सितंबर को मुख्य सचिव मनोज पंथ ने एक ईमेल के जरिए बैठक का आमंत्रण भेजा है. इसमें लिखा गया,
"माननीय सर्वोच्च न्यायालय के 9 सितंबर 2024 के आदेश के मद्देनजर कानून का पालन करने वाले नागरिकों के रूप में सुप्रीम कोर्ट के निर्देश का पालन करना हमारा कर्त्तव्य है. यह पांचवीं और आखिरी बार है, जब हम माननीय मुख्यमंत्री और आपके प्रतिनिधियों के बीच बैठक के लिए आपसे संपर्क कर रहे हैं. पिछले दिनों की हमारी चर्चा के बाद, हम एक बार फिर आपको मुख्यमंत्री के साथ उनके कालीघाट स्थित आवास पर खुले मन से बातचीत के लिए बुला कर रहे हैं."
पत्र में आगे कहा गया,
“हमें यकीन है कि आपसी सहमति के मुताबिक और एक दिन पहले मीडिया को दिए गए आप के बयान के मुताबिक, मीटिंग की कोई लाइव स्ट्रीमिंग या वीडियोग्राफी नहीं होगी. क्योंकि मामला देश की सर्वोच्च अदालत में विचाराधीन है. इसके बजाय, बैठक के मिनट्स को रिकॉर्ड किया जाएगा और दोनों पक्षों द्वारा हस्ताक्षर किए जाएंगे.”
पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव मनोज पंत ने पत्र के आखिरी में कहा,
"यह बैठक आज यानी 16 सितंबर 2024 को शाम 5 बजे माननीय मुख्यमंत्री के कालीघाट स्थित आवास पर निर्धारित है. पिछली चर्चा के लिए आए प्रतिनिधिमंडल से गुजारिश है कि वे आज शाम 4:45 बजे कार्यक्रम स्थल पर पहुंचें. हम आपकी सकारात्मक प्रतिक्रिया और एक सार्थक चर्चा की उम्मीद करते हैं.”
बंगाल सरकार का यह कदम कोलकाता रेप-मर्डर मामले पर सुप्रीम कोर्ट की अगली सुनवाई से एक दिन पहले उठाया गया है. मंगलवार 17 सितंबर को मामले पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होनी है.
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इससे पहले CM ममता बनर्जी ने प्रदर्शनकारी डॉक्टरों को 14 सितंबर की शाम 6 बजे बातचीत के लिए अपने आवास पर बुलाया था. डॉक्टरों का एक प्रतिनिधिमंडल उनके आवास पहुंचा भी था, लेकिन मीटिंग नहीं हुई थी. रिपोर्ट के मुताबिक डॉक्टरों और CM ममता बनर्जी की मीटिंग ‘लाइव स्ट्रीमिंग की शर्त’ के कारण नहीं हो पाई. जूनियर डॉक्टरों ने मीटिंग की लाइव स्ट्रीमिंग की मांग की थी. वहीं सीएम ममता ने कहा कि मामला कोर्ट में विचाराधीन होने के कारण लाइव स्ट्रीमिंग की मंजूरी नहीं दी जा सकती.
इसके बाद रविवार 15 सितंबर को ममता बनर्जी अचानक हड़ताल पर बैठे डॉक्टरों से मिलने के लिए धरनास्थल यानी राज्य स्वास्थ्य भवन पहुंची. मुलाकात के दौरान उन्होंने कहा कि डॉक्टर्स जिन अधिकारियों के इस्तीफे की मांग कर रहे उस मामले की जांच के लिए उन्हें समय चाहिए. साथ ही उन्होंने कहा कि उन्हें मुख्यमंत्री पद का लालच नहीं है. पद होना बड़ी बात नहीं है बल्कि इंसान होना बड़ी बात है.
आरजी मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल में एक ट्रेनी डॉक्टर के रेप और हत्या के बाद डॉक्टर्स विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. रिपोर्ट के मुताबिक आंदोलनकारी डॉक्टर्स की ओर से 5 मांगें रखी गई हैं.
1. ट्रेनी डॉक्टर के रेप और मर्डर के बाद सबूतों को 'नष्ट' करने के लिए जिम्मेदार लोगों की जवाबदेही तय हो और उन्हें सजा दी जाए.
2. मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल डॉ. संदीप घोष के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए.
3. कोलकाता के पुलिस कमिश्नर विनीत गोयल और स्वास्थ्य सचिव नारायण स्वरूप निगम इस्तीफा दें.
4. स्वास्थ्य कर्मियों के लिए बेहतर सुरक्षा व्यवस्था की जाए.
5. सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में 'धमकी की संस्कृति' को खत्म किया जाए.
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