एकनाथ शिंदे सीएम पद की दावेदारी से पीछे हटे, BJP के मुख्यमंत्री को देंगे समर्थन
एकनाथ शिंदे ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में साफ किया कि भारतीय जनता पार्टी मुख्यमंत्री पद के लिए जिस भी नेता को चुनेगी, वो शिवसेना को मंजूर होगा.
महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री बनने को लेकर चली रही अटकलें खत्म हो गईं हैं. राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) ने 27 नवंबर को साफ कर दिया कि उन्हें सीएम पद का कोई लालच नहीं है और बीजेपी की तरफ से मुख्यमंत्री उन्हें मंजूर है. ठाणे में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान शिंदे ने कहा कि सरकार बनाने के लिए उनकी तरफ से कोई अड़चन नहीं है. शिंदे ने बताया कि उन्होंने कल (26 नवंबर) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से फोन पर बात की और उन्हें बताया कि उनका (पीएम) जो भी निर्णय होगा, वो उन्हें मंजूर होगा.
एकनाथ शिंदे ने ये प्रेस कॉन्फ्रेंस महाराष्ट्र में अगली सरकार को लेकर ही की थी. उन्होंने साफ कहा,
“कल प्रधानमंत्री मोदी से मैंने बात की. अमित शाह से भी बात की. मैंने उनसे कहा कि सरकार बनाने में हमारी तरफ से कोई अड़ंगा नहीं है. भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता मुख्यमंत्री पद को लेकर जो निर्णय लेंगे, जो उनका उम्मीदवार होगा, वो शिवसेना को मंजूर होगा. हम नाराज होने वाले लोग नहीं है. हम लड़ने वाले लोग हैं. हम मिलकर राज्य के लिए काम करते रहेंगे.”
शिंदे ने आगे कहा कि कल (28 नवंबर) अमित शाह के साथ महायुति गठबंधन के तीनों दलों की बैठक होगी. इस बैठक में सरकार गठन को लेकर विस्तार से चर्चा की जाएगी और इसके बाद फैसला लिया जाएगा.
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में महायुति गठबंधन ने 288 में से 230 सीट हासिल कर शानदार जीत दर्ज की. अकेले भारतीय जनता पार्टी को 132 सीटें मिलीं. वहीं शिवसेना (शिंदे गुट) ने 57 और एनसीपी (अजित पवार गुट) ने 41 सीट हासिल की थी. इस प्रचंड जीत के बाद से ही राज्य में अगले मुख्यमंत्री को लेकर चर्चा शुरू हो गई थी. ये संभावना पहले से जताई जा रही थी कि अब मुख्यमंत्री पद बीजेपी को मिलने वाला है.
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एक दिन पहले एकनाथ शिंदे ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दिया था. क्योंकि मौजूदा सरकार का कार्यकाल पूरा हो चुका था. लेकिन राज्यपाल ने अगली सरकार के गठन तक उन्हें कार्यवाहक सीएम रहने को कहा था.
शिंदे ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में आगे कहा कि वे रोने वाले व्यक्ति नहीं हैं, बल्कि समाधान निकालने वाले व्यक्ति हैं. उनके मुताबिक, चुनाव में बहुमत आने के बाद कहीं भी बातचीत रुकी नहीं है. उन्होंने कहा कि वे खींचतान करने वाले व्यक्ति नहीं हैं.
सरकार गठन के बाद शिंदे की क्या भूमिका होगी? पत्रकारों की तरफ से पूछे गए इस सवाल पर शिंदे ने कोई जवाब नहीं दिया.
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