छत्तीसगढ़ के सुकमा में सुरक्षाबलों से मुठभेड़ में 10 'नक्सलियों' की मौत
ये नक्सली ओडिशा बॉर्डर से छत्तीसगढ़ में घुसे थे. मुठभेड़ उस वक्त हुई जब सुरक्षाबल के जवान भंडारपदर में नक्सलियों के खिलाफ तलाशी अभियान चला रहे थे. नक्सलियों की मौजूदगी का पता चलते ही सुरक्षाबलों ने उनको घेर लिया. दोनों ओर से हुई फायरिंग में कई नक्सली मारे गए.
छत्तीसगढ़ के सुकमा में सुरक्षाबलों ने 10 कथित नक्सलियों को मार गिराने का दावा किया है (Sukuma Naxal Encounter). 22 नवंबर की सुबह सुकमा के भंडारपदर इलाके में सुरक्षाबलों की नक्सलियों से मुठभेड़ हो गई. सुरक्षाबलों की गोलीबारी में कई नक्सलियों के मारे जाने की बात सामने आई, जबकि सुरक्षाबलों को कोई नुकसान नहीं पहुंचा. मुठभेड़ में मारे गए नक्सलियों के पास से AK-47 समेत कई हथियार बरामद हुए हैं.
इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक, ये नक्सली ओडिशा बॉर्डर से छत्तीसगढ़ में घुसे थे. मुठभेड़ उस वक्त हुई जब सुरक्षाबल के जवान भंडारपदर में नक्सलियों के खिलाफ तलाशी अभियान चला रहे थे. नक्सलियों की मौजूदगी का पता चलते ही सुरक्षाबलों ने उनको घेर लिया. दोनों ओर से हुई फायरिंग में कई नक्सली मारे गए.
ANI के मुताबिक, बस्तर के IG सुंदरराज पी ने बताया कि मुठभेड़ वाली जगह पर नक्सलियों के पास से AK-47, इंसास (INSAS) राइफल और SLR जैसे हथियार मिले हैं. सुरक्षाबलों ने इन हथियारों को जब्त कर लिया है.
बताया गया है कि भेज्जी के जंगलो में इन नक्सलियों का ठिकाना था. सुरक्षाबल को इसकी सूचना मिलते ही सर्च ऑपरेशन चलाया गया था.
मुठभेड़ के बाद छत्तीसगढ़ के उपमुख्यमंत्री अरूण साव ने सुरक्षाबलों की तारीफ करते हुए PTI को बताया-
“सुकमा में 10 नक्सलियों के मारे जाने की खबर है. नक्सलियों का सफाया करने के लिए सुरक्षाकर्मी वाकई काबिले तारीफ है. मैं उनके साहस और समर्पण की तहे दिल से प्रशंसा करता हूं.”
कुछ दिन पहले ही केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने मुलाकात थी. रिपोर्ट्स के मुताबिक बैठक में गृह मंत्री ने साल 2026 तक नक्सलवाद को सिरे से खत्म से करने की बात की थी. इसके बाद से ही पूरे छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ सर्च ऑपरेशन्स को और तेज कर दिया गया है. इस साल अब तक 250 से ज्यादा नक्सली को मारा जा चुका है.
पहले भी मारे जा चुके हैं नक्सलवादी
इस पहले भी अक्टूबर महीने में हुई एक मुठभेड़ में 30 नक्सलवादी मारे गए थे. यह मुठभेड़ छत्तीसगढ़ के नारायणपुर-दंतेवाड़ा जिले की सीमा पर हुई थी. पुलिस ने एनकाउंटर साइट से भारी हथियार भी बरामद किए थे.
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