साल 2008. नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी ने एक आंकड़ा जारी किया. बाघों को लेकर.बताया, देश में अब ले-देकर सिर्फ 1411 बाघ बचे हैं. हर तरफ अफरा-तफरी मच गई. कहांगए बाक़ी के बाघ? सरिस्का और दूसरे अभयारण्यों में जिन बाघों को रखा गया था, उनकाक्या हुआ?बढ़ते शिकार और जंगलों के आस-पास अतिक्रमण करती मानव आबादी ने जंगल की इस बड़ी बिल्लीकी बढ़त को रोक दिया था. कैंपेन चलाए गए. विज्ञापनों की झड़ी लग गई. बाघ बचाओ. शिकाररोको. एनिमल राइट्स एक्टिविस्ट भी उतर आए मैदान में. कवायद का नतीजा ये हुआ कि दससाल बाद देश में इनकी संख्या 2,967 पहुंच गई.बाघ का वैज्ञानिक नाम Panthera Tigris है. पूरी दुनिया में भारत ऐसा देश है जहांशेर और बाघ दोनों पाए जाते हैं. (तस्वीर: Pexels)राहत की सांस ली गई. लेकिन जंगली जानवरों के अवैध शिकार की कहानी यहीं ख़त्म नहींहुई. होनी भी नहीं थी.कुछ जंगली जानवरों के शिकार की घटनाएं खबरें बनती हैं. उनको लेकर बहसें होती हैं.एक्शन प्लान बनाए जाते हैं. जैसे हाथी, शेर, चीता, बाघ, पांडा, ओरांगुटान, डॉल्फिन,व्हेल मछली. इनका शिकार इनके फर, दांतों, चमड़ी, मांस इत्यादि के लिए किया जाता है.हाल में पैंगोलिन नाम भी इसमें सामने आया. कोरोनावायरस के चलते. पता चला येचींटीखोर जानवर भी शिकार का मारा है. लेकिन इन्हीं सब जानवरों के बीच एक ऐसा जानवरऔर है, जिसका शिकार धीरे-धीरे अपने देश में बढ़ता जा रहा है. लेकिन उसके बारे मेंखबरें पढ़ने को नहीं मिलतीं.वो जानवर है सियार. अंग्रेजी में इसे jackal कहते हैं. इसका एक नाम गीदड़ भी है.गीदड़ या सियार आकार में भेड़ियों से छोटे होते हैं. इनका आहार छोटे-छोटे जानवर याबड़े मांसाहारी जानवरों द्वारा छोड़ दिया गया शिकार होते हैं. (तस्वीर: विकिमीडिया/RMS Ratnayake)एक अंतरराष्ट्रीय जर्नल है- जर्नल ऑफ थ्रेटेंड टैक्सा (Journal of ThreatenedTaxa). इसमें पूरी दुनिया में जंगली जानवरों को बचाने के लिए चल रही रिसर्च औरयोजनाओं पर आर्टिकल छपते हैं. इसी में आर्टिकल छपा कि किस तरह पिछले छह सालों मेंही सैकड़ों सियारों की चमड़ियां, पूंछ, और उनकी खोपड़ियां जब्त की गईं. ये आंकड़ा सिर्फभारत का है. लेकिन सियारों को आखिर किस चीज़ के लिए मारा जा रहा है?जवाब है – सियार सिंगी, या गीदड़ सिंगी.वो रिसर्च जो थ्रेटेंड टैक्सा जर्नल में छपी है. (तस्वीर: Journal of ThreatenedTaxa)गधे के सींग सियार के सिर?सियार के सींग नहीं होते. ये बायोलॉजिकल सत्य है. लेकिन कुछ लोग मानते हैं कि सियारकी नाक के ऊपर एक छोटा-सा सींग होता है. स्टडी करने वालों के अनुसार इसका इस्तेमालकाले जादू में किया जाता है. भारत की बात करें तो कई ऑनलाइन दुकानें भी सियार कासींग बेचने का दावा करती हैं. कई वेबसाइट्स पर ये दावा किया गया है कि सियार सिंगीको सिंदूर से भरी डिबिया में रखना फायदेमंद होता है. इससे काम सिद्ध हो जाते हैं.काफी पहले एक किताब पढ़ी थी. तंत्र-मंत्र पर. उसमें भी इसका ज़िक्र था. किताब मेंयहां तक लिखा गया था कि एक ख़ास समय पर जब सियार ‘हुआं-हुआं’ करने पहुंचे, जब देखनाचाहिए कि उसकी नाक पर सींग है या नहीं.जिसे सियार सिंगी कहकर बेचा जाता है, वो कई बार सिर्फ बालों का एक गुच्छा भी होताहै. कई मामलों में लोमड़ी या गीदड़ के पैरों के नाखून भी सियार सिंगी कहकर बेच दिएजाते हैं. (तस्वीर: Blogspot)ऐसी किताबों में ये भी लिखा होता है कि इस सिंगी के लिए किसी सियार की जान नहींलेनी चाहिए. किसी मरे हुए सियार का ही ‘सींग’ लेना चाहिए. लेकिन इस अंधविश्वास कीवजह से हजारों सियारों की जान आफत में फंस गई है.इस रिसर्च के मुताबिक़, कई बार सियार की नाक के ऊपर की हड्डी बढ़ जाती है, या बालोंका गुच्छा बन जाता है. उसे सियार सिंगी कहते हैं. कई ऑनलाइन वेबसाइट्सगीदड़,कुत्तों, लोमड़ियों के पंजों के नाखून निकाल कर भी उसे सियार सिंगी कहकर बेचतीहैं. उत्तर भारत के साथ-साथ ये दक्षिण भारत में भी बेची जाती है, और इसे नरी कोम्बूकहा जाता है. पिछले छह सालों में ऐसे 370 ‘सियार सिंगी’ जब्त किए गए हैं.कौन कौन से देश इसमें शामिल हैं?स्टडी कहती है कि दक्षिण एशियाई देशों में जादू-मंत्र करने वाले लोगों द्वारा की गईमांग ही मुख्य रूप से ‘सियार सिंगी’ का व्यापार चला रही है. भारत के अलावापाकिस्तान भी इसका एक स्रोत माना जाता है. इसके अलावा बिक्री की बात करें तो UK,USA, जर्मनी और सिंगापुर में भी ऑनलाइन इसे बेचा जाता है.कैसे रोका जा सकता है ये व्यापार?रिसर्च करने वालों का सुझाव है कि राज्य के फॉरेस्ट डिपार्टमेंट्स को इसे रोकने केलिए कड़े कदम उठाने चाहिए. जानवरों के शरीर के हिस्सों का व्यापार करने के लिए एकबड़ा तंत्र पहले से मौजूद है. इसमें छिपकलियां, पैंगोलिनन, कस्तूरी मृग के शरीर केहिस्से, उल्लू और कई जलीय प्राणी शामिल हैं. इसी का फायदा उठाकर सियार सिंगी का भीलेन-देन किया जाता है. इन पर कड़ी नज़र बनाए रखने पर ही इस अवैध व्यापार को भी रोकाजा सकेगा.--------------------------------------------------------------------------------वीडियो: दस लोगों का शिकार करने वाला बाघ