The Lallantop
Advertisement
pic
आकाश सिंह
23 जुलाई 2024 (Updated: 23 जुलाई 2024, 16:05 IST)
font-size
Small
Medium
Large
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share

बजट से पहले सामने आया सरकार का रिपोर्ट कार्ड

आपको लगता है कि आप पैसे समझ बूझ कर खर्चते हैं. लेकिन फिर भी 22-25 तारीख़ के बाद वही कहानी हर Middle class की. तो अबकी आपने प्लान किया कि पूरा हिसाब-किताब लगाकर खर्चा-सेविंग की जाए. Zomato को किया अनइंस्टॉल, Neflix का Auto Debit किया बंद और लेकर बैठ गये लैपटॉप. बना डाली पूरी एक्सेल शीट- इत्ता-इत्ता खर्चेंगे, इत्ते से ज़्यादा उधार नहीं देंगे और इत्ते से कम सेविंग नहीं करेंगे. ऐसा ही कुछ भारत सरकार भी करती है.

Advertisement

इकॉनमिक सर्वे यानि इकॉनमी का मुआयना करना. पिछले साल के बजट में लिए गए फैसलों और स्कीम्स का क्या इंपैक्ट रहा, इसका एनालिसिस करना. ये सर्वे रिपोर्ट चीफ इकॉनमिक एडवाइजर के नेतृत्व में बनती है. चीफ इकॉनमिक एडवाइजर भारत सरकार के आर्थिक सलाहकार होते हैं. फाइनेंस मिनिस्टर, इकॉनमिक सर्वे संसद में पेश करते हैं. इसमें पिछले साल की ओवरऑल फिनेंशियल परफ़ॉरमेंस और आर्थिक चुनैतियां की बात होती है. और इसके जरिए सरकार आर्थिक स्थिति को एक बड़े पर्दे पर बताने की कोशिश करती है. 

इस वीडियो में जानते हैं-

-इकॉनमिक सर्वे क्या होता है?
-इकॉनमिक सर्वे क्यों किया जाता है? 
-ये सर्वे बजट से पहले क्यों रिलीज़ होता है? 
-इस बार के इकॉनमिक सर्वे में सरकार ने क्या बताया?  

Comments
thumbnail

Advertisement

Advertisement