दुर्घटना के बाद जरूरी मदद नहीं मिलना पीड़ित और उसके परिवार के लिए बहुत बुरा अनुभव होता है. घायल व्यक्ति का अपने परिवार से संपर्क नहीं हो पाता. समय पर एम्बुलेंस या अस्पताल नहीं मिल पाता. अगर खून की जरूरत पड़े तो भी परेशान होना पड़ता है. कहने का मतलब पहले दुर्घटना और फिर तमाम दिक्कतें. हालांकि इनसे निपटने के कई उपाय हैं. हमारा स्मार्टफोन भी इसमें अहम हो सकता है. इमरजेंसी कॉल कर सकता है तो एक क्लिक पर एम्बुलेंस भी बुला सकता है.
अनहोनी में आपके सबसे काम के साथी हैं मोबाइल के ये फीचर, आज ही जानें और एक्टिव करें
स्मार्टफोन के कुछ ऐसे फीचर्स और ऐप के बारे में बात करेंगे जो दुर्घटना (Smartphone emergency apps and features ) के समय बहुत काम आ सकते हैं. अच्छी बात ये है कि इनका किसी ऑपरेटिंग सिस्टम से कोई लेना-देना नहीं. आपके पास Android हो या iPhone. फीचर्स सभी जगह मिलेंगे.
आज स्मार्टफोन के कुछ ऐसे ही फीचर्स और ऐप के बारे में बात करेंगे जो दुर्घटना के समय बहुत काम आ सकते हैं. अच्छी बात ये है कि इनका किसी ऑपरेटिंग सिस्टम से कोई लेना-देना नहीं. आपके पास एंड्रॉयड हो या आईफोन, फीचर्स सभी जगह मिलेंगे.
लॉक स्क्रीन इमरजेंसी कॉलये दुर्घटना होने पर सबसे ज्यादा काम आने वाला फीचर है. इसकी मदद से कोई भी व्यक्ति पुलिस, डॉक्टर से लेकर घायल व्यक्ति के परिवार तक से संपर्क कर सकता है. अच्छी बात ये है कि इसमें फोन का लॉक ओपन नहीं होता, यानी पर्सनल डेटा बाहर आने की आशंका भी नहीं के बराबर होती है. दोनों ही प्लेटफॉर्म पर कैसे सेट करना है. वो जान लीजिए.
एंड्रॉयड
# सेटिंग्स में Safety & Emergency का ऑप्शन मिलेगा.
# यहां अपनी मेडिकल इनफॉर्मेशन भी भर दीजिए. बहुत काम आएगी.
# यहीं मिलेगा Emergency Contacts जिसमें आपको अपने दोस्तों या परिवार के सदस्य का नंबर डालना है.
आईफोन
# हेल्थ ऐप के अंदर सबसे पहले अपनी मेडिकल इन्फो भर दीजिए.
# यहीं Emergency Contact फड़फड़ाएगा..
ये वाला काम अपने फोन में तो कीजिए ही. साथ में अपने परिवार के दूसरे फोन में भी इमरजेंसी कॉन्टैक्ट सेव कर दीजिए.
112 इंडिया ऐपदुनिया भर के आपातकालीन नंबर, मसलन पुलिस वाला 100 या एम्बुलेंस वाला 108, याद रखने और सेव करने की जरूरत नहीं. सिर्फ एक ऐप डाउनलोड करने की देर है और हेल्प आपके पास पहुंच जाएगी. 112 इंडिया ऐप गूगल प्ले और ऐप स्टोर पर डाउनलोड के लिए उपलब्ध है. ऐप की सबसे खास बात इसका यूजर इंटरफ़ेस है. डाउनलोड कीजिए और मोबाइल नंबर से लॉगिन कर लीजिए. इसके बाद कुछ बेसिक डिटेल्स, जैसे किस राज्य से हैं और जन्म की तारीख वगैरा. ऐप को आपकी लोकेशन की जरूरत रहेगी और हमारी पिछली सलाह से उलट, हम आपसे कहेंगे कि लोकेशन एक्सेस देने में कोई देरी ना करें. आइकन पर क्लिक करते ही कॉल कनेक्ट होगा. जो नहीं हुआ तो कुछ ही देर में वापस से कॉल आ जाता है.
e-Raktkoshभारत सरकार का उपक्रम. मुसीबत में ब्लड की जरूरत है तो सबसे पहले इस वेबसाइट का रुख कर सकते हैं. वेबसाइट का यूजर इंटेरफेस बहुत ही आसान है. बहुत सारी बेसिक जानकारी भी यहीं से मिल जाती है. मसलन, कौन सा ब्लड ग्रुप किस ब्लड ग्रुप को डोनेट कर सकता है और कौन सा रिसीव कर सकता है. लॉगिन करते ही आप अपनी जरूरत के हिसाब से डोनर सर्च कर सकते हैं. इतना ही नहीं, बल्कि नजदीक के ब्लड बैंक की लोकेशन भी यहीं से मिल जाती है.
इसके साथ friends2support.org. वेबसाइट भी बहुत काम की है. इस पर आपको ब्लड ग्रुप, देश, राज्य और शहर जैसे फिल्टर मिल जाते हैं. वेबसाइट इस काम के लिए कोई पैसा चार्ज नहीं करती है. इसलिए अगर कोई डोनर आपसे पैसे की मांग करता है तो अलर्ट रहें. जिस ब्लड ग्रुप की तलाश है, उसको सिलेक्ट करके बाकी ऑप्शन चुन लीजिए. वेबसाइट आज की तारीख में भारत के साथ नेपाल, श्रीलंका, बांग्लादेश सहित कई देशों में अपनी सर्विस मुहैया कराती है.
ये सारे फीचर्स और ऐप अपने साथ अपने परिवार और दोस्तों को भी बता दीजिए. जितनी मदद हो सके उतना अच्छा.
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