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वजन घटाने के लिए इस्तेमाल हो रही दवा 'ओजेम्पिक' कितनी सेफ है? एलन मस्क तक ले रहे

क्या ओज़ेम्पिक के इस्तेमाल से थायरॉइड कैंसर हो सकता है?

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हॉलिवुड के बड़े-बड़े स्टार्स इस दवाई को वजन घटाने के लिए इस्तेमाल कर रहे हैं. (तस्वीरें- पीटीआई)

जो लोग वज़न घटाना (Weight loss) चाहते हैं, उनकी एक दिली ख्वाहिश होती है. क्या? यही कि काश! कुछ ऐसा जुगाड़ हो जाए कि वज़न भी घटे और बहुत ज़्यादा मेहनत भी न करनी पड़े. इसलिए आए दिन कोई न कोई ऐसा तोड़ मार्किट में आता ही रहता है जो जल्दी वज़न घटाने का दावा करता है. जैसे हाल-फ़िलहाल में सोशल मीडिया पर खलबली मचा रही है एक दवा. इसका नाम है ओज़ेम्पिक (Ozempic).

जानकार बताते हैं कि ओज़ेम्पिक असल में डायबिटीज (Diabetes) की दवा है. वेट लॉस की नहीं. इसे इंजेक्शन की तरह लगाया जाता है. पर इससे वज़न घटाने का चलन शुरू हुआ हॉलीवुड से. कई स्टार्स ने ये माना कि वो ओज़ेम्पिक इस्तेमाल कर रहे हैं, जिससे उनका वज़न घट रहा है. 

मशहूर एक्ट्रेस और कॉमेडियन हैं . उन्होंने बताया कि वो वेट लॉस के लिए ओज़ेम्पिक ले तो रही थीं, पर कुछ समय बाद इसके साइड इफेक्ट्स होने लगे. ट्विटर के मालिक एलन मस्क (Elon Musk) ने भी कुबूला था कि उनके वज़न घटाने में ओज़ेम्पिक ने मदद की.   एमी शूमर (Amy Schumer)

ज़ाहिर सी बात है, जब इतने बड़े-बड़े लोग किसी दवा का गुणगान करेंगे तो सोशल मीडिया पर उसके चर्चे होंगे ही. भारत में भी ओज़ेम्पिक (Ozempic) को लेकर इंटरेस्ट जगा है. 

ओज़ेम्पिक एक ब्रांड नेम है. इसमें सेमाग्लूटाइड (Semaglutide) नाम की दवा होती है. ये 'ओज़ेम्पिक' के अलावा और नामों से भी बिकती है. साथ ही ऐसी और दवाइयां भी मौजूद हैं मार्किट में. डॉक्टर से जानते हैं कि क्या ये दवा इंडिया में आसानी से मिल जाती है? वज़न घटाने में ये कैसे मदद करती है? सबसे ज़रूरी बात. इसे वेट लॉस के लिए इस्तेमाल करने से क्या कोई नुकसान होता है?

ओज़ेम्पिक दवा किस लिए इस्तेमाल की जाती है?

ये हमें बताया डॉक्टर अर्चना जुनेजा ने.

( डॉक्टर अर्चना जुनेजा,  एंडोक्राइनोलॉजिस्ट, कोकिलाबेन धीरुभाई अंबानी हॉस्पिटल, मुंबई )

ओज़ेम्पिक(Ozempic) नाम की दवाई अंतरराष्ट्रीय बाजार में हाल ही में लॉन्च हुई है ( 2017 में इसे FDA से अप्रूवल मिला). इसका इस्तेमाल टाइप 2 डायबिटीज के इलाज में किया जाता है. लेकिन ध्यान रहे, टाइप 1 डायबिटीज, जिसे जुवेनाइल डायबिटीज (Juvenile Diabetes) या प्रेग्नेंसी डायबिटीज (Pregnancy Diabetes) भी कहते हैं, उसके इलाज में ओज़ेम्पिक का इस्तेमाल नहीं किया जाता.

भारत में ये दवा किसी भी मेडिकल शॉप में आसानी से मिल जाती है?

फिलहाल ओज़ेम्पिक केवल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मौजूद है. अमेरिका के स्वास्थ्य विभाग की एजेंसी FDA ने ओज़ेम्पिक को मंजूरी दे दी है. साथ ही विदेश में मरीज इसका इस्तेमाल भी कर रहे हैं. लेकिन ओज़ेम्पिक अभी भारत में उपलब्ध नहीं है. 

भारत में ड्रग कंट्रोल अथॉरिटी ने अभी तक इस दवाई को मंजूरी नहीं दी है. लेकिन उम्मीद है कि जल्दी ही ओज़ेम्पिक भारत में भी उपलब्ध होगी. इसके लिए दवाई का ट्रायल चल रहा है, जिसके बहुत अच्छे रिजल्ट मिल रहे हैं. ये दवाई ग्लूकोज़ को कंट्रोल करने में काफी मदद कर रही है. भारत के डॉक्टरों को उम्मीद है अगले साल तक ये दवाई देश में भी उपलब्ध होगी. फिलहाल ये किसी भी मेडिकल शॉप पर उपलब्ध नहीं है.

ओज़ेम्पिक वज़न घटाने में कैसे मदद करती है?

> ओज़ेम्पिक टाइप 2 डायबिटीज के इलाज के लिए बनाई गई है.

> लेकिन साथ में ये वजन भी कम कर रही है.

> इस वजह से ये दवाई डायबिटीज के मरीजों की काफी मदद करेगी.

> क्योंकि डायबिटीज के कई मरीज मोटापे से भी जूझ रहे हैं.

> हमारी आंतों में GLP नाम का एक हॉर्मोन पाया जाता है.

> जो शुगर लेवल को कंट्रोल करता है.

> साथ ही पैंक्रियाज (Pancreas) को इंसुलिन रिलीज करने के लिए मैसेज भी भेजता है.

> दिमाग में मौजूद हाइपोथैलेमस ग्रंथि (Hypothalamus Gland) को GLP संतुष्टि का मैसेज भी भेजता है. खाना खाने के बाद महसूस होने वाली संतुष्टि के लिए GLP ही जिम्मेदार है.

> यही नहीं, GLP पेट और आंतों के फंक्शन को भी धीमा कर देता है.

> ओज़ेम्पिक दवा GLP को और ज्यादा प्रोत्साहित करती है, यानी इसका असर तीन जगह पर होता है.

> पहला हाइपोथैलेमस ग्रंथि पर जिससे थोड़ा खाना खाने पर ही संतुष्टि मिल जाती है.

> दूसरा असर पेट और आंतों पर होता है,  ये उनके फंक्शन को धीमा कर देती है, जिस वजह से जल्दी भूख नहीं लगती.

> तीसरा असर होता है पैंक्रियाज पर. पैंक्रियाज में इंसुलिन नाम का हॉर्मोन बनता है. ये हॉर्मोन शुगर को कंट्रोल करता है. GLP इंसुलिन को और भी ज्यादा एक्टिव बनाता है.

> ओज़ेम्पिक भूख कम कर देती है, पेट ज्यादा समय तक भरा रहता है और बॉडी में शुगर को कंट्रोल करती है.

> इस तरह से ये दवाई वजन को भी कम करती है.

ओज़ेम्पिक के साइड इफेक्ट्स क्या हैं?  

> ओज़ेम्पिक के आमतौर पर दो साइड इफेक्ट्स होते हैं.

> उल्टी जैसा महसूस होना या मतली आना, कुछ लोगों को उल्टी भी हो जाती है.

> साथ ही कुछ मामलों में पैंक्रियाटाइटिस (Pancreatitis) की समस्या भी हो जाती है, यानी पैंक्रियाज में सूजन आ जाना.

> दूसरा साइड इफेक्ट है थायरॉइड कैंसर, लेकिन ये आमतौर पर नहीं होता.

> अगर ओज़ेम्पिक लेने वाले मरीजों को बहुत ज्यादा पेट दर्द और उल्टियां हो रही हैं, गले में सूजन महसूस हो रही है तो एक बार डॉक्टर को जरूर दिखा लें.

इंडिया टुडे में छपी ख़बर के मुताबिक, ओज़ेम्पिक जैसी दवाइयां भारत में उपलब्ध हैं, पर केवल उन केमिस्ट के पास जो दवाइयां इम्पोर्ट करते हैं. ये दवाइयां केवल एक पुख्ता प्रिस्क्रिप्शन पर ही मिलती हैं.

सौ बातों की एक बात. वज़न घटाने का सही तरीका है एक हेल्दी, बैलेंस्ड डाइट लेना और एक्सरसाइज करना. अगर किसी कंडीशन के कारण आपका वज़न बढ़ रहा है या घट नहीं रहा, तो ऐसे में डॉक्टर को दिखाना बेहद ज़रूरी है. पर किसी और मर्ज़ की दवा लेकर वज़न घटाने की कोशिश न करें. क्योंकि इसके साइड इफेक्ट्स जानलेवा भी हो सकते हैं. 

(यहां बताई गईं बातें, इलाज के तरीके और खुराक की जो सलाह दी जाती है, वो विशेषज्ञों के अनुभव पर आधारित है. किसी भी सलाह को अमल में लाने से पहले अपने डॉक्टर से ज़रूर पूछें. दी लल्लनटॉप आपको अपने आप दवाइयां लेने की सलाह नहीं देता.)

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