काली पोस्टर (Kaali Poster) पर विवाद छंट रहा है. लोग बोर हो रहे हैं. कुछेक जगहों पर बहस है, लेकिन अब मामला ट्विटर तक सिमट कर रह गया है. इसी बीच लीना की एक किताब का कवर सामने आया है. और, कवर भी ठीक-ठाक बवाल काट रहा है.
काली पोस्टर पर आहत होने वाले अगर लीना की किताब देख लें, तो कंझा जाएंगे!
लीना ने दो किताबें लिखी हैं - 'सिसिली' और 'भाषा मेरी दुश्मन है'.
ख़बर बनती है तो एक चीज़ बढ़िया होती है कि उस व्यक्ति या विषय के बारे में सब डिटेल्स बाहर आती हैं. इसी मसले को ही ले लीजिए. किसी को आइडिया भी नहीं था कि लीना मणिमेकलाई कौन हैं. उन्होंने क्या काम किया है, क्या फ़िल्में बनाई हैं. लेकिन अब लोगों को हल्का-हल्का आइडिया है.
ऐसे ही हमें पता चला कि लीना ने किताबें भी लिखी हैं. दो किताबे हैं. 'सिसिली' और 'भाषा मेरी दुश्मन है'. गीतांजली राव नाम की एक फ़िल्म-मेकर हैं. उन्होंने अपने फेसबुक हैंडल पर सिसिली का कवर शेयर किया. सिसिली लीना की कविताओं का संग्रह है. किताब 2016 में पब्लिश हुई थी और हड़कम्प अब हो रहा है.
कवर में लाल रंग का बैकड्रॉप है. एक महिला है, काली साड़ी में और एक पुरुष है. पुरुष चित पड़ा हुआ है. मरा हुआ लगा रहा है. महिला उसके ऊपर बैठी हुई है. एक कैमरे से उसकी तस्वीर खींच रही है.
गीतांजली ने ये कवर शेयर किया और व्यंग्य करते हुए कैप्शन में लिखा,
ये लीना मणिमेकलाई की लिखी एक किताब का कवर है. इससे मेरी धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंची है क्योंकि सिनेमा मेरा धर्म है. एंटोनियो मेरा भगवान है. इसके अलावा कोई भी साड़ी पहनी महिला कैमरा के साथ किसी पुरुष के ऊपर या नीचे नहीं बैठ सकती. प्लीज़ लेखक और चित्रकार के ख़िलाफ़ अभी FIR दर्ज करें!
यहां गीतांजली ने इटली के फिल्मकार माइकलेंजेलो एंटोनियो का जिक्र किया है. एंटोनियो की गिनती दुनिया के महान फिल्मकारों में होती है.
इस पोस्ट पर लोग ढूंढ-ढूंढ कर कॉमेंट कर रहे हैं. एक व्यक्ति ने कॉमेंट किया,
'काली का सिगरेट पीना मेरी भावनाओं को ठेस पहुंचाता है. इमानदारी से बोल हो रहा हूं.'
इस पर गीतांजली ने लिखा,
तीन प्रदेशों में चल रही है FIR'लिंच करने वाली भीड़, बलात्कारी, फासीवादी, मिसॉजिनिस्ट और आसानी से आहत होने वाले लोग मेरी भावनाओं को ठेस पहुंचाते हैं. बस संवैधानिक रूप से सही बात बोल रही हूं.'
'काली' के पोस्टर के रिलीज़ होने के बाद से ही लीना मणिमेकलाई को सोशल मीडिया पर ख़ूब धमकियां मिल रही हैं. पोस्टर में हिंदू देवी काली के भेस में एक महिला सिगरेट पीती दिख रही हैं. पोस्टर में काली के एक हाथ में त्रिशूल है, एक में LGBTQIA+ वाला प्राइड फ़्लैग. इंटरनेट पर लोग पोस्टर से बहुत नाराज़ हैं. लीना पर आरोप लग रहे हैं कि उन्होंने हिंदू भावना को ठेंस पहुंचाई है.
कई राइट विंग ग्रुप्स ने पोस्टर के प्रति सख़्त आपत्ति जताई थी और लीना के ख़िलाफ़ कई शिकायतें दर्ज की गईं. इसकी वजह से कनाडा के आग़ा ख़ान म्यूज़ियम ने अंततः इस डॉक्यूमेंट्री की प्रस्तुति रोक दी. साथ ही एक आधिकारिक बयान में माफ़ी भी मांगी. फ़िल्म के पोस्टर के साथ मूल ट्वीट को भी हटा दिया गया है.
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