अमेरिका में सभी इमिग्रेंट्स को अब से हमेशा अपने साथ डॉक्यूमेंट रखना अनिवार्य होगा. यह आदेश अमेरिका की एक कोर्ट ने दिया है. इसके बाद यूएस डिपार्टमेंट ऑफ होमलैंड सिक्योरिटी (DHS) ने बयान जारी कर कहा कि अब से 18 साल से अधिक उम्र के इमिग्रेंट्स को हर समय ID डॉक्यूमेंट अपने साथ रखना होगा. ऐसा न करने वालों पर जुर्माने के साथ कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
अमेरिका में नया आदेश, H-1B वीज़ा हो या स्टूडेंट, कभी भी कहा जा सकता है- 'कागज दिखाओ'
अमेरिका में जिन लोगों के पास H-1B वीजा, स्टूडेंट वीजा और ग्रीन कार्ड जैसे दस्तावेज़ हैं. उन्हें भी अपने डॉक्यूमेंट हमेशा साथ रखने होंगे. अगर उनका पता बदलता है तो 10 दिनों के अंदर इसकी सूचना देनी होगी.

टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक सभी इमिग्रेंट्स को 11 अप्रैल तक रजिस्ट्रेशन करने का समय दिया गया था. इसके अलावा 11 अप्रैल के बाद अमेरिका आने वाले लोगों को 30 दिनों के अंदर रजिस्ट्रेशन कराना होगा. वहीं 14 साल की उम्र पूरा होने पर बच्चों का भी दोबारा पंजीकरण कराना होगा. और अपने फिंगरप्रिंट देने होंगे. ऐसा न करने वालों पर 5 हजार डॉलर यानी करीब 4 लाख 30 हजार से अधिक रुपये का जुर्माना लगाया जा सकता है. इसके अलावा 6 महीने की जेल भी हो सकती है.
अमेरिका में इमिग्रेंट्स से जुड़े कुछ गैर-लाभकारी संगठनों ने होमलैंड सिक्योरिटी के खिलाफ कोर्ट में मुकदमा दायर किया था. इसमें CHIRLA, यूनाइटेड फार्मवर्कर्स ऑफ अमेरिका, मेक द रोड न्यूयॉर्क और CASA जैसे संगठन शामिल थे. इनका उद्देश्य ट्रंप सरकार के रजिस्ट्रेशन सिस्टम को रोकना था. इस पर सुनवाई करते हुए अमेरिकी जिला जज ट्रेवर एन. मैकफैडेन ने इन संगठनों की मांगों को खारिज कर दिया. सरकार के फैसले को जारी रखने की अनुमति दी.
वहीं वकीलों का कहना है कि जिन लोगों के पास H-1B वीजा, स्टूडेंट वीजा और ग्रीन कार्ड जैसे दस्तावेज़ हैं, वे पहले से पंजीकृत माने जाते रहे हैं. लेकिन अब से उन्हें भी अपने डॉक्यूमेंट हमेशा साथ रखने होंगे. और अगर उनका पता बदलता है तो 10 दिनों के अंदर इसकी सूचना देनी होगी. ऐसा न करने पर उन्हें भी जुर्माने का सामना करना पड़ेगा. वहीं बच्चों के माता-पिता उन्हें 30 दिनों से अधिक समय तक देश में रखते हैं तो उन्हें भी अपने बच्चों का पंजीकरण कराना जरूरी होगा.
बता दें कि DHS के अनुसार, साल 2022 तक भारत से 2.20 लाख इलीगल इमिग्रेंट्स अमेरिका में थे. वहीं प्यू रिसर्च सेंटर ने यह आंकड़ा 7 लाख के पार बताया था. जबकि माइग्रेशन पॉलिसी इंस्टीट्यूट के अनुसार यह आंकड़ा 3.75 लाख के करीब था.
वीडियो: अवैध अप्रवासी, F35 से लेकर चीन पर बात, पीएम मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप को क्या कहा?