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"हर दुकान पर सिर्फ एक नाम...", कांवड़ यात्रा वाले आदेश के बाद सोनू सूद का पोस्ट वायरल

Kanwar Yatra को लेकर यूपी सरकार के आदेश पर सियासी बवाल मचा है. Sonu Sood के पोस्ट में इनमें से किसी का जिक्र नहीं है. लेकिन इसे जोड़ा इसी से जा रहा है.

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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आदेश दिया है कि कांवड़ यात्रा वाले रास्तों पर पड़ने वाली खाने-पीने की दुकानों पर उनके मालिकों का नाम लिखना होगा. (फ़ोटो/इंडिया टुडे)

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ  (Yogi Adityanath) ने आदेश दिया है कि कांवड़ यात्रा (UP Kanwar Yatra) वाले रास्तों पर पड़ने वाली खाने-पीने की दुकानों पर उनके मालिकों का नाम लिखना होगा. कई लोग इस फैसले को असंवैधानिक बताकर इसकी आलोचना कर रहे हैं. वहीं विपक्षी दलों ने भी भाजपा सरकार पर निशाना साधा है. आदेश के ख़िलाफ़ सोशल मीडिया पर नाराज़गी के बीच, Actor Sonu Sood ने भी इस मुद्दे पर अपनी बात रखी है. सोनू सूद ने किसी का नाम लिए बिना X पर लिखा,

हिंदी में मतलब-

"हर दुकान पर एक ही नेमप्लेट होनी चाहिए: ‘मानवता’."

सोनू सूद अक्सर लोगों की मदद करने के लिए सुर्खियों में रहते हैं. वह शायद ही कभी राजनीतिक बयान देते हैं. सोनू सूद की बहन मालविका ने 2022 के पंजाब विधानसभा चुनाव में मोगा सीट से चुनाव लड़ा था. लेकिन वो चुनाव हार गईं थीं.

राजनीति में क्या हो रहा है?

Food security and safety act 2006 के नियम के मुताबिक़ रेस्टोरेंट और ढाबे के मालिक को अपनी फर्म का नाम, अपना नाम और लाइसेंस नंबर लिखना होता है. इसका हवाला देते हुए योगी सरकार के इस कदम का BJP ने बचाव किया है. BJP IT सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने X पर लिखा,

"उत्तर प्रदेश सरकार 2006 में समाजवादी पार्टी की सरकार द्वारा खानपान व्यवसाय के लिए बनाए नियमों को मात्र लागू कर रही है. इसको लेकर सब लोग उत्तेजित क्यों हो रहे हैं?"

कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने इस मसले पर लिखा,

“ये मुसलमानों के आर्थिक बॉयकॉट की दिशा में उठाया कदम है या दलितों के आर्थिक बॉयकॉट का, या दोनों का, हमें नहीं मालूम.”

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इससे पहले असदुद्दीन ओवैसी ने आदेश को लेकर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा,

“उत्तर प्रदेश पुलिस के आदेश के अनुसार अब हर खाने वाली दुकान या ठेले के मालिक को अपना नाम बोर्ड पर लगाना होगा ताकि कोई कावड़िया गलती से मुसलमान की दुकान से कुछ न खरीद ले. इसे दक्षिण अफ्रीका में अपारथाइड कहा जाता था और हिटलर की जर्मनी में इसका नाम 'Judenboycott' था.”

Uttarakhand में भी जारी हुआ फरमान

UP के बाद उत्तराखंड के हरिद्वार के SSP ने भी ऐसा ही फैसला सुनाया है. SSP प्रमेंद्र सिंह डोबाल ने कहा है,

"कांवड़ यात्रा के दौरान ऐसे सभी लोगों को, जो होटल या ढाबे का संचालन करते हैं या फिर रेहड़ी-ठेला लगाते हैं, उन्हें आदेश दिया गया है कि अपनी दुकान के आगे मालिक का नाम, QR Code और मोबाइल नंबर लगाएं. व्यक्ति ऐसा नहीं करेगा तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. साथ ही उसको कांवड़ मार्ग से भी हटा दिया जाएगा."

SSP ने कहा कि उन्हें पता चला है कि इससे पहले पहचान छिपा कर होटल या ढाबे के संचालन से अप्रिय स्थिति पैदा हुई थी.

इस साल कांवड़ यात्रा 22 जुलाई से शुरू हो रही है. सावन का महीना 22 जुलाई से शुरू होकर 19 अगस्त को समाप्त होगा.

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