भारत में G20 समिट का आगाज़ हो चुका है. सभी सदस्य देशों के प्रतिनिधि समिट में हिस्सा लेने भारत पहुंच चुके हैं. इसके अलावा कुछ मेहमान देशों को भी बुलाया गया है. समिट की शुरुआत PM मोदी के भाषण (PM Modi Speech) से हुई है. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत की G-20 अध्यक्षता सबको साथ लाने का प्रतीक बन गई है.
"सबका साथ..."- G20 में प्रधानमंत्री मोदी का भाषण, पांच बड़ी बातें जान लीजिए
G-20 समिट की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण से हुई. उन्होंने कई मुद्दों पर बात की.
PM मोदी ने अपने भाषण की शुरुआत में मोरक्को में आए भूकंप की बात की. उन्होंने इसमें मारे गए लोगों के प्रति संवेदना व्यक्त की. प्रधानमंत्री ने कहा कि पूरा विश्व समुदाय मोरक्को के साथ है, और सभी उनको मदद पहुंचाने के लिए तैयार हैं. मोरक्को में आए भूकंप में अब तक 600 से ज़्यादा लोगों के मारे जाने की पुष्टि हो गई है. ये संख्या और भी बढ़ने की आशंका बताई जा रही है.
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PM मोदी ने अपने भाषण में आगे कहा कि 21 वीं सदी का ये समय पूरी दुनिया को नई दिशा देने वाला समय है. ये वो समय है जब बरसों पुरानी चुनौतियां हमसे समाधान मांग रही हैं और इसलिए हमें ह्यूमन सेंट्रिक अप्प्रोच के साथ अपने दायित्व को निभाते हुए आगे बढ़ना है.
3. विश्वास के अभाव को खत्म करनाकोविड के बाद एक बहुत बड़ा संकट इस दुनिया में आया है. वो संकट है विश्वास के अभाव का, और युद्ध ने इस संकट को और बढ़ाया है. जब हम कोविड को हरा सकते हैं तो इस विश्वास के अभाव को भी कम कर सकते हैं. आज G20 के मौके पर हम सभी से अपील करते हैं कि सबसे पहले इस विश्वास के अभाव को खत्म करें.
4. विभाजित होती दुनियावैश्विक अर्थव्यवस्था में उथल-पुथल हो, नॉर्थ और साउथ का डिवाइड हो, ईस्ट और वेस्ट की दूरी हो, फूड, फ्यूल और फल्टीलाइज़र का मैनेजमेंट हो. आतंकवाद और साइबर सिक्यूरिटी का मसला हो. आने वाली पीढ़ियों के लिए हमें इनका निपटारा करना ही होगा.
PM मोदी ने अपने भाषण में कहा कि सबका साथ की भावना से भारत ने ये प्रस्ताव रखा था कि अफ्रीकी यूनियन को G-20 का सदस्य बना दिया जाए. उन्होंने कहा कि हमें विश्वास है कि इस प्रस्ताव पर हम सबकी सहमति है.