8 घंटे की पूछताछ के बाद गुरुवार, 9 मार्च को ED ने मनीष सिसोदिया को अरेस्ट कर लिया. इसके बाद तिहाड़ जेल से मनीष सिसोदिया ने एक ओपन लेटर लिखा है (Manish Sisodia Open Letter From Tihar Jail). लेटर का टाइटल है 'शिक्षा-राजनीति और जेल'. इसमें सिसोदिया ने BJP पर आरोप लगाया कि वो लोगों को जेल में डालने की राजनीति कर रही है. लेटर में उन्होंने शिक्षा के मुद्दे पर भी बात की है.
'राजनीति जेल भेजने से सफल हो रही, फिर कोई स्कूलों पर ध्यान क्यों दे'- सिसोदिया का ओपन लेटर
लेटर का टाइटल है-'शिक्षा-राजनीति और जेल'

मनीष सिसोदिया ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए लिखा-
-बीजेपी लोगों को जेल में डालने की राजनीति कर रही है, हम बच्चों को पढ़ाने की
-जेल भेजना आसान है लेकिन बच्चों को पढ़ाना बहुत मुश्किल
-राष्ट्र शिक्षा से आगे बढ़ेगा, जेल भेजने से नहीं
-एजेंसियों पर दबाव बनाकर लोगों को जेल में भरा जा रहा है
मनीष सिसोदिया ने लिखा -
दिल्ली के शिक्षामंत्री के रूप में काम करते हुए बहुत बार ये सवाल मन में उठता रहा कि देश और राज्यों की सत्ता तक पहुंचे नेताओं ने देश के हरेक बच्चे के लिए शानदार स्कूल और कॉलेज का इंतजाम क्यों नहीं किया? एक बार अगर पूरे देश में, पूरी राजनीति तन-मन-धन से शिक्षा के काम में जुट गई होती तो आज हमारे देश में हर बच्चे के लिए विकसित देशों की तरह अच्छे से अच्छे स्कूल होते. फिर क्यों शिक्षा को सफल राजनीति ने हमेशा हाशिए पर रखा? देख रहा हूं कि जब राजनीति में सफलता जेल चलाने से मिल जा रही है तो स्कूल चलाने की राजनीति की जरूरत भला कोई क्यों महसूस करेगा.
पूर्व डिप्टी सीएम ने आगे लिखा-
सत्ता के खिलाफ उठने वाली हर आवाज को जेल भेजकर या जेल भेजने की धमकी देकर सत्ता चलाना, देश के बच्चों के लिए शानदार स्कूल कॉलेज खोलने और चलाने से कहीं ज्यादा आसान है. उत्तर प्रदेश के हुक्मरानों को एक लोक गायिका का लोकगीत अपने खिलाफ लगा तो पुलिस का नोटिस भेज उसे जेल जाने की धमकी भिजवा दी. कांग्रेस के एक प्रवक्ता ने मोदीजी के नाम में एक शब्द इधर-उधर कर दिया तो दो राज्यों की पुलिस ने उनको एक खूंखार अपराधी की तरह फिल्मी अंदाज में जाकर दबोच लिया. अरविंद केजरीवाल जी का गुनाह तो इतना बड़ा है कि आज मोदीजी की राजनीति के समक्ष एक वैकल्पिक राजनीति ही खड़ी कर दी है. इसके चलते आज केजरीवाल के दो मंत्री जेल में हैं.
AAP नेता ने आगे लिखा-
जेल की राजनीति सत्ता में बैठे नेता को और बड़ा और ताकतवर बना रही है. जेल की राजनीति में तो जांच एजेंसी के चार अधिकारियों को दबाव में लेने भर से काम हो जाता है. आज जांच एजेंसियों के ऊपर दबाव बनाकर आप चाहे जिसे जेल भिजवा दें.
वो आगे लिखते हैं-
आज जरूर जेल की राजनीति सफल दिख रही हो, लेकिन भारत का भविष्य स्कूल की राजनीति में है. शिक्षा की राजनीति में है. भारत विश्वगुरु बनेगा तो इसलिए नहीं कि यहां की जेलों में कितनी ताकत है. बल्कि इसके दम पर कि यहां की शिक्षा में कितनी ताकत है. आने वाला कल शिक्षा की राजनीति का होगा.
बता दें, CBI ने मनीष सिसोदिया को कथित शराब नीति घोटाले के मामले में 26 फरवरी को गिरफ्तार किया था. इसके बाद वो 7 दिन तक सीबीआई हिरासत में रहे. फिर 6 मार्च को राउज एवेन्यू कोर्ट ने सिसोदिया को 20 मार्च तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया था. इसके बाद उन्हें तिहाड़ जेल में शिफ्ट किया गया.
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