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धुले मॉब लिंचिंग केस में आया फैसला, बच्चा चोर समझकर 5 लोगों की हुई थी हत्या

Maharashtra Dhule Mob Lynching: 2018 में सोशल मीडिया पर फैली एक अफ़वाह के बाद भीड़ ने 5 व्यक्तियों को पीट-पीटकर मार डाला था. 6 साल बाद अब आया फ़ैसला.

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पुलिस ने धुले मॉब लिंचिंग केस में कुल 35 लोगों को आरोपी बनाया था. 28 रिहा हो गए, 7 को सज़ा हुई है. (सांकेतिक फोटो- इंडिया टुडे)

महाराष्ट्र में एक ज़िला है- धुले. यहां एक जुलाई 2018 को 5 लोगों की मॉब लिंचिंग कर दी गई थी. अब इस मामले में धुले की ज़िला अदालत ने फ़ैसला सुनाया है और 7 लोगों को दोषी ठहराते हुए उन्हें उम्रक़ैद की सज़ा सुनाई है. मॉब लिंचिंग के इस केस में कुल 35 लोगों को आरोपी बनाया गया था. बाकी 28 लोगों के ख़िलाफ़ पर्याप्त सबूत नहीं मिले, जिसकी वजह से उन्हें रिहा कर दिया गया. जिन 7 को सज़ा हुई है, वो इन मामलों में दोषी पाए गए हैं:

# हत्या
# ग़ैरकानूनी कामों के लिए भीड़ जुटाना
# पब्लिक सर्वेंट पर बल प्रयोग करना, पीटना
# पब्लिक प्रॉपर्टी एक्ट के तहत सार्वजनिक संपत्तियों को नुकसान पहुंचाना

सज़ा के अलावा इन 7 को 10-10 हज़ार रुपये का जुर्माना भी भरना होगा. इन 7 दोषियों के नाम भी जान लीजिए- महारू पवार, दशरथ पिंपाल्से, हीरालाल गावली, गुलाब पड़वी, युवराज चौरे, मोतीलाल साबले और कालू गावित.

(ये भी पढ़ें: अलवर: चिरंजी लाल मॉब लिंचिंग केस में 7 अरेस्ट, भीड़ ने चोर बताकर मार डाला था)

एक जुलाई, 2018 को क्या हुआ था?

एक जुलाई, 2018 को महाराष्ट्र के धुले ज़िले के रैनपाड़ा गांव में 5 लोग साधु-संत के भेष में घूम रहे थे, भिक्षा मांग रहे थे. ये लोग नाथ पंथी थे. इस बीच ज़िले के कुछ वॉट्सऐप ग्रुप्स पर ये अफ़वाह फैल गई कि ये लोग जो ज़िले में घूम रहे हैं, ये बच्चे किडनैप करने वाले हैं. 30-35 लोगों की भीड़ ने इन 5 लोगों को पकड़ लिया, पंचायत भवन में बंद कर दिया और पांचों को पीट-पीटकर मार डाला. पुलिस की जांच में पता चला है कि इन पांचों को लोहे के रॉड, ईंट-पत्थर, लकड़ी के हत्थों से पीटा गया था. 

तत्कालीन धुले SP एम रामकुमार ने बताया था कि इस घटना का गांव पर इतना असर पड़ा था कि करीब 250 लोग इसके बाद गांव ही छोड़ गए थे. 

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