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इंस्पेक्टर बन प्रोफेसर को वीडियो कॉल की, 2 दिन रखा डिजिटल अरेस्ट, FD तुड़वाई, 54 लाख ठग लिए

Lucknow की रिटायर्ड महिला प्रोफेसर को Digital arrest कर 54 लाख से ज्यादा रुपये ठग लिए गए. स्कैमर ने उनके FD तुड़वाकर पैसे लुट लिए. पर ये सब हुआ कैसे ? प्रोफेसर ने पुलिस को सब बताया है.

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साइबर क्रिमिनल्स ने डिजिटल अरेस्ट कर ठगे लाखों रुपये (फोटो: AI)

लखनऊ में एक रिटायर्ड प्रोफेसर (Lucknow retired professor duped) को साइबर क्रिमिनल्स ने लाखों रुपये का चूना लगा दिया है. पीड़िता SGPGI की एसोसिएट प्रोफेसर रह चुकी हैं. इतना ही नहीं, रिटायर्ड प्रोफेसर को लगभग 48 घंटे डिजिटल अरेस्ट (Digital arrest) करके रखा गया और उनसे 54 लाख से ज्यादा रुपये ठग लिए गए.

इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, मामला लखनऊ के इंदिरा नगर के सेक्टर-16 का है. यहां रहने वाली SGPGI की पूर्व एसोसिएट प्रोफेसर रेखा राय के पास एक अनजान नंबर से कॉल आया. शख्स ने खुद को दिल्ली पुलिस का एक इंस्पेक्टर बताया. स्कैमर ने महिला प्रोफेसर से कहा कि उनके आधार कार्ड से HDFC में एक बैंक अकाउंट खोला गया है. इतनी ही नहीं, उस अकाउंट से मिलियन डॉलर का ट्रांसफर हुआ है. मतलब कि उस अकाउंट के जरिए मनी लॉन्ड्रिंग की जा रही है. स्कैमर ने ये भी बताया कि उनके आधार कार्ड से एक सिम कार्ड भी खरीदा गया है, जिससे ड्रग्स सप्लाई हो रही है.

जेल भेजने की दी धमकी

प्रोफेसर को डराने के लिए स्कैमर ने ये भी कहा कि इस मामले में दिल्ली में FIR भी दर्ज हुई है और उन्हें दिल्ली आकर इस मामले में बयान देना होगा. इसके बाद महिला के नंबर पर एक वीडियो कॉल आया. जिसमें कथित तौर पर एक व्यक्ति पुलिस की वर्दी में बैठा था. उस शख्स ने महिला प्रोफेसर से अपना बयान दर्ज कराने और इस दौरान किसी से फोन पर बात नहीं करने की हिदायत दी. नहीं तो उन्हें ड्रग स्मगलिंग और मनी लॉन्ड्रिंग में जेल भेजने की धमकी दी गई.

ये सब डर दिखाकर महिला से पूछताछ के नाम पर बैंक खातों की पूरी जानकारी ली गई और FD तुड़वाकर बचत खातों में ट्रांसफर करवा दी. अगले दिन महिला ने अपने अकाउंट से कुल 54 लाख 61000 रूपये स्कैमर्स के अकाउंट में ट्रांसफर कर दिए. बाद में महिला प्रोफेसर को पता लगा कि उनके साथ स्कैम हुआ है. जिसके बाद उन्होंने लखनऊ साइबर थाने में एफआईआर दर्ज कराई. फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी है.

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अब जिस डिजिटल अरेस्ट की बात आ रही है, वो क्या होता है?  डिजिटल अरेस्ट, साइबर क्राइम का एक नया तरीका है जिसमें स्कैमर्स पीड़ित व्यक्ति को वीडियो कॉल पर डरा-धमका कर घर पर ही कैद कर लेते हैं. उन्हें घर से बाहर नहीं निकलने की हिदायत दी जाती है. ये सब करके किसी शख्स को इतना परेशान करते हैं कि वो पैसे देने पर मजबूर हो जाता है.

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