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कांग्रेस को ऑफिस बनाना था, कर्नाटक सरकार ने 20 गुना कम रेट पर दे दी जमीन

हुबली-धारवाड़ में 2998.29 मीटर की जो जमीन कांग्रेस को दी गई, उसका सर्किल रेट 19 हजार रुपये प्रति स्क्वायर मीटर है. इस हिसाब से जमीन की कीमत बनती है करीब 5.67 करोड़ रुपये. लेकिन इसके केवल पांच पर्सेंट, यानी लगभग 28 लाख रुपये में जमीन अलॉट कर दी गई. इसी पर हंगामा बरपा है.

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कर्नाटक में सिद्धारमैया सरकार ने अपना पार्टी कार्यालय बनाने के लिए 28 लाख रुपये में जमीन आवंटित की. (तस्वीर:PTI)

कर्नाटक सरकार ने राज्य में अपनी पार्टी का कार्यलय बनाने के लिए 5.67 करोड़ रुपये की जमीन 28 लाख रुपये में आवंटित कर दी. यह जमीन हुबली-धारवाड़ नगर निगम के अंतर्गत आती है. बीजेपी ने इस फैसले को लेकर कांग्रेस और उसके नेतृत्व वाली सिद्दारमैया सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है.

5% के सर्किल रेट पर जमीन आवंटित

दरअसल कांग्रेस पार्टी कर्नाटक में अपने 100 ऑफिस बनाना चाहती है. द हिंदू की रिपोर्ट के मुताबिक, प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने इस वादे के तहत जमीन की मांग की थी. कर्नाटक कैबिनेट ने 20 फरवरी को KPPC को भवन बनाने के लिए जमीन आवंटित कर दी. ये जमीन हुबली-धारवाड़ में पड़ती है. आरोप है कि सरकार ने गाइडेंस वैल्यू (सर्किल रेट) के केवल पांच पर्सेंट रेट पर जमीन आवंटित कर दी.

गाइडेंस वैल्यू या सर्किल रेट किसी संपत्ति की निम्नतम कीमत (Minimum price) होती है जिस पर वो प्रॉपर्टी सरकार के पास रजिस्टर्ड करानी होती है. मान लेते हैं, अगर किसी इलाके का सर्किल रेट 50 हजार रुपये प्रति स्क्वायर यार्ड है, तो 100 गज की जमीन खरीदने के लिए 50 लाख रुपये की कीमत चुकानी होगी. अलग-अलग स्टेट में प्रॉपर्टी को गज, मीटर और फीट में मापा जाता है. तो कीमत भी उसी हिसाब से तय होती है.

हुबली-धारवाड़ में 2998.29 मीटर की जो जमीन कांग्रेस को दी गई, उसका सर्किल रेट 19 हजार रुपये प्रति स्क्वायर मीटर है. इस हिसाब से जमीन की कीमत बनती है करीब 5.67 करोड़ रुपये. लेकिन इसके केवल पांच पर्सेंट, यानी लगभग 28 लाख रुपये में जमीन अलॉट कर दी गई. इसी पर हंगामा बरपा है. 

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राजनीतिक घमासान मचा

बीजेपी ने कांग्रेस सरकार के इस फैसले की निंदा की है. पार्टी के विधायक महेश तेंगिनकाई ने कांग्रेस पर शासन के कामों पर ध्यान देने की बजाय अपनी पार्टी का ढांचागत विकास करने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा, “कांग्रेस नए ऑफिस बनाने की योजना बना रही है. लेकिन उनसे मेरा एक सवाल है. आपकी पार्टी के पास बहुत पैसा है, लेकिन राज्य के विकास और जनता से किए वादों को पूरा करने के लिए फंड नहीं है?”

वहीं कर्नाटक के कानून मंत्री एचके पाटिल ने सरकार के इस फैसले को सही ठहराया है. उन्होंने कहा, “कर्नाटक में जहां जरूरत होती है, वहां पहले भी इस तरह की छूट दी जाती रही है. इसी के तहत हमने विभिन्न राजनीतिक दलों को जमीन आवंटित की है." 

कांग्रेस मंत्री ने दावा किया कि बीजेपी को भी पार्टी कार्यालय बनाने के लिए जमीन दी गई थी.

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