हिमाचल प्रदेश स्टेट इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड लिमिटेड (HPSEBL) ने बीजेपी सांसद कंगना रनौत के बिजली बिल के दावे को गलत बताया है. कंगना रनौत ने कहा था कि उनके मनाली स्थित घर का महीने का बिजली बिल ₹1 लाख आया है. इस पर बिजली बोर्ड ने प्रतिक्रिया दी है. बोर्ड के मुताबिक ₹90,384 का जो बिल आया है, वह दो महीने का है. बोर्ड का यह भी कहना है कि कंगना ने समय पर अपने बिल का भुगतान नहीं किया और उनके घर में जो बिजली की खपत है, वह 94.82 किलोवाट की है, जो कि एक सामान्य घर की तुलना में ‘1500% ज्यादा’ है.
कंगना रनौत का दावा, 'बिजली का बिल 1 लाख आया', बोर्ड बोला- 'भरती ही नहीं'
कंगना रनौत ने एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा था कि उनके मनाली वाले घर का बिजली बिल ₹1 लाख का आया है, जबकि वह वहां रहती भी नहीं हैं. उनके इस बयान पर बिजली बोर्ड ने स्पष्टीकरण में कहा कि कंगना रनौत का यह दावा कि बिजली का बिल एक महीने का था, गलत और भ्रामक है.

कंगना रनौत ने 8 अप्रैल को मंडी में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा था कि उनके मनाली वाले घर का बिजली बिल ₹1 लाख का आया है, जबकि वह वहां रहती भी नहीं हैं. अंग्रेजी अखबार द ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक बीजेपी सांसद के इस बयान पर बिजली बोर्ड ने स्पष्टीकरण में कहा कि कंगना रनौत का यह दावा कि बिजली का बिल एक महीने का था, गलत और भ्रामक है.
ट्रिब्यून ने बोर्ड के एक प्रवक्ता के हवाले से बताया है, "कंगना रनौत को 22 मार्च को जो बिल भेजा गया था, उसमें पिछला बकाया ₹32,287 भी शामिल था. कुल मिलाकर दो महीनों का बिल ₹90,384 है."
बोर्ड ने यह भी दावा किया कि कंगना समय पर अपने बिजली बिलों का भुगतान नहीं कर रही थीं. बोर्ड के प्रवक्ता ने बताया,
"उनके घर का अक्टूबर, नवंबर और दिसंबर 2024 का बिजली बिल ₹82,061 था, जिसे उन्होंने 16 जनवरी को चुकाया. इसी तरह, उन्होंने जनवरी और फरवरी के बिजली बिल समय पर जमा नहीं किए. जनवरी में उनके घर में करीब 6,000 यूनिट बिजली की खपत हुई थी, और बिल ₹31,367 का था. फरवरी में खपत 9,000 यूनिट थी और बिल ₹58,096 का था, जिसमें लेट फीस भी शामिल थी."
प्रवक्ता ने बताया कि कंगना के घर की मासिक बिजली खपत काफी अधिक है, जो 5,000 से 9,000 यूनिट के बीच रहती है. उन्होंने कहा कि कंगना नियमित रूप से राज्य सरकार द्वारा दी जा रही सब्सिडी का लाभ भी ले रही हैं. फरवरी के बिल पर उन्हें ₹700 की सब्सिडी मिली है.
मामले में विपक्षी कांग्रेस की तरफ से भी प्रतिक्रिया आई. NDTV की रिपोर्ट के मुताबिक प्रदेश कांग्रेस ने कहा, “कंगना की ओर किया गया यह दावा अनुचित है. सांसद होने के नाते उन पर एक जिम्मेदारी है. यह बयान सिर्फ सस्ती लोकप्रियता पाने के लिए दिया गया है.”
कांग्रेस ने कहा कि बीजेपी सांसद को संबंधित अधिकारियों से इस विषय पर बात करनी चाहिए, कंगना के खिलाफ जानबूझकर कोई कार्रवाई करने का सवाल ही नहीं उठता.
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