भारत ने उम्मीद जताई है कि कनाडा के साथ उसके रिश्ते ‘आपसी विश्वास और संवेदनशीलता’ के आधार पर फिर बेहतर होंगे (India on relation with Canada). इससे पहले, कनाडा के नए बने प्रधानमंत्री ने भी कहा थी कि वो भारत के साथ संबंध सुधारना चाहते हैं. यानी जस्टिन ट्रूडो (Justin Trudeau) के प्रधानमंत्री पद से हटने के बाद भारत-कनाडा संबंधों में फिर सुधार दिख रहा है.
ट्रूडो के हटते ही कनाडा से फिर हो जाएगी दोस्ती? भारत ने बड़ा इशारा कर दिया है
India Canada Relationship: बीते कुछ महीनों में भारत और कनाडा के सुरक्षा अधिकारियों ने संपर्क फिर से शुरू किया है. दोनों पक्ष नए उच्चायुक्तों की नियुक्ति की संभावना पर भी विचार कर रहे हैं. ऐसे में भारत-कनाडा संबंधों में फिर सुधार की उम्मीद जताई जा रही है.
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भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल 21 मार्च को साप्ताहिक undefinedकर रहे थे. इस दौरान उन्होंने एक सवाल का जवाब देते हुए भारत-कनाडा रिश्तों पर बात की. उन्होंने संबंधों में तल्खी आने के लिए कनाडा में ‘चरमपंथी और अलगाववादी तत्वों’ को दिए गए ‘लाइसेंस’ को ज़िम्मेदार ठहराया. उन्होंने कहा,
भारत-कनाडा संबंधों में गिरावट का कारण उस देश में चरमपंथी और अलगाववादी तत्वों को दी गई छूट है. हमारी आशा है कि हम आपसी विश्वास और संवेदनशीलता के आधार पर अपने संबंधों को पुनः स्थापित कर सकेंगे.
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कनाडाई सुरक्षा खु़ुफ़िया सर्विस के प्रमुख डैनियल रोजर्स बीते हफ़्ते भारत आए थे. टॉप ग्लोबल ख़ुफ़िया अधिकारियों के सम्मेलन में भाग लेने के लिए. इसे दोनों पक्षों के बीच संबंधों को बेहतर बनाने की कोशिशों के रूप में देखा गया.
India Canada Relationshipबताते चलें, हरदीप सिंह निज्जर की 18 जून 2023 को एक गुरुद्वारे की पार्किंग में हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी. सितंबर, 2023 में जस्टिन ट्रूडो ने इसे लेकर भारत पर कई गंभीर आरोप लगाए. उन्होंने कनाडा की धरती पर हुई इस हत्या में भारतीय एजेंटों की संलिप्तता का शक जताया. इसके बाद से ही भारत-कनाडा के बीच संबंध गंभीर तनाव में आ गए.
भारत ने ट्रूडो के आरोपों को ‘बेतुका’ बताकर ख़ारिज कर दिया. बीते साल की दूसरी छमाही में दोनों देशों के बीच संबंधों में और गिरावट आई. जब कनाडा ने उच्चायुक्त संजय वर्मा समेत कई भारतीय राजनयिकों को निज्जर की हत्या से जोड़ दिया.
भारत ने अक्टूबर, 2024 में वर्मा और पांच अन्य राजनयिकों को वापस बुला लिया था. वहीं, भारत ने भी नई दिल्ली से इतनी ही संख्या में कनाडाई राजनयिकों को निष्कासित कर दिया. लेकिन बीते कुछ महीनों में भारत और कनाडा के सुरक्षा अधिकारियों ने संपर्क फिर से शुरू किया है. दोनों पक्ष नए उच्चायुक्तों की नियुक्ति की संभावना पर भी विचार कर रहे हैं.
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