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ज्ञानवापी मस्जिद का सर्वे शुरू, 30 लोगों की टीम किन-किन हिस्सों की कर रही जांच?

क्या सुप्रीम कोर्ट आज सर्वे पर रोक लगा देगा?

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चार वादी महिलाएं भी सर्वे टीम के साथ ज्ञानवापी मस्जिद आई हैं | फोटो: आजतक

वाराणसी की ज्ञानवापी मस्जिद (Gyanvapi Masjid) के परिसर का सर्वे शुरू हो गया है. भारतीय पुरातत्व विभाग (ASI) की टीम सोमवार, 24 जुलाई को सुबह सात बजे मस्जिद परिसर में पहुंची. 30 लोगों की टीम ने सर्वे की प्रक्रिया शुरू की. आजतक से जुड़े कुमार अभिषेक की एक रिपोर्ट के मुताबिक ASI की टीम के साथ दोनों पक्षों के चार वकील मौजूद हैं. इसके अलावा चार वादी महिलाएं भी सर्वे टीम के साथ ज्ञानवापी मस्जिद आई हुई हैं.

किन हिस्सों में हो रहा सर्वे?

आजतक ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि ASI ने चार अलग-अलग टीमें बनाई हैं और सभी टीमों ने अपनी कार्रवाई शुरू कर दी है. चारों टीमें अलग-अलग जगह पर सर्वे कर रही हैं, जिसमें एक टीम पश्चिमी दीवार के पास, 1 टीम गुंबदों की, एक टीम मस्जिद के चबूतरे की और एक टीम परिसर के सर्वे के लिए लगाई गई है.

उधर, मुस्लिम पक्ष यानी इंतजामिया मस्जिद कमेटी ने इसके खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है. आज ही 10 बजे इस मामले पर सुनवाई होगी.

कोर्ट ने सर्वे को लेकर क्या कहा?

वाराणसी जिला अदालत ने 21 जुलाई को ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे का आदेश दिया था. अदालत ने अपने फैसले में कहा था कि विवादित हिस्से को छोड़कर पूरे परिसर का सर्वे किया जाए. मामले की अगली सुनवाई 4 अगस्त को होगी. ASI को तब तक सर्वे रिपोर्ट कोर्ट को सौंपनी है. ज्ञानवापी मस्जिद सर्वे की इजाजत देते हुए जिला जज अजय कृष्ण विश्वेश ने ये निर्देश भी दिया था कि ASI का सर्वे सुबह 8-12 बजे के बीच होना चाहिए. कोर्ट ने साफ किया था कि सर्वे के दौरान नमाज़ पर कोई रोक नहीं लगनी चाहिए. और इस दौरान ज्ञानवापी मस्जिद को कोई नुकसान भी नहीं पहुंचाया जाना चाहिए. हालांकि कोर्ट ने मस्जिद को बिना नुकसान पहुंचाए ASI को खुदाई करने की इजाजत दी है. 

किसकी याचिका पर सर्वे?

इससे पहले इलाहाबाद हाई कोर्ट ने 31 मई को वाराणसी के ज्ञानवापी मस्जिद परिसर में श्रृंगार गौरी की नियमित पूजा की मांग करने वाली याचिका पर सुनवाई की थी. कोर्ट ने मुस्लिम पक्ष की आपत्ति खारिज करते हुए हिंदू पक्ष की याचिका को सुनने लायक बताया था. कोर्ट ने वाराणसी जिला अदालत के फैसले को बरकरार रखा था.

इससे पहले जिला अदालत ने पूजा की मांग वाली याचिका को सुनने योग्य बताया था. अदालत के इस फैसले को इंतजामिया मस्जिद कमेटी ने इलाहाबाद हाई कोर्ट में चुनौती दी थी. जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया था. इसके बाद पांच वादी महिलाओं में से चार ने जिला अदालत में एक प्रार्थना पत्र दायर किया था. इसमें मांग की गई थी कि ज्ञानवापी मस्जिद के विवादित हिस्से को छोड़कर बाकी पूरे परिसर का ASI से सर्वे कराया जाए. इसी पर जिला जज एके विश्वेश ने सर्वे कराने का आदेश दिया.

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