गैंग्स ऑफ वासेपुर का सीन. फैजल भैया हथियारों की डील करने पहुंचे हैं. नजर पड़ती एक गिटपिट करने वाली मशीन पर. ई का है? फैजल के सवाल का जवाब मिलता है - पेजर है. इसमें संदेशा लिख के भेजते हैं. दुई चार सवाल जवाब के बाद फैज़ल भैया पेजर का खेल समझ जाते हैं. सीन कट. स्लो मोशन में सीढ़ी से उतरता फैज़ल कमर में पेजर खोंस रहा है. और बैकग्राउंड में सुनाई देता है- काला रे. सैयां काला रे.
नई वाली पीढ़ी के लिए पेजर का इकलौता याद आने वाला संदर्भ शायद यही है. लेकिन 80 और 90 के सिनेमा में पेजर का बोलबाला था. अमीर बिजनेसमैन की पहचान हो या पॉलिटिक्स में क्रिटिकल इनफॉर्मेशन की संदेशा खेती. पेजर का दर्ज़ा, वॉकी टाकी या कॉर्डलेस से ऊपर हुआ करता था. लगभग लुप्त हो चुका पेजर 17 सितम्बर के रोज अचानक दोबारा चर्चा में आया. जब लेबनान में अचानक हजारों पेजर एक साथ फट पड़े. जिसमें 9 लोगों की मौत हो गई और 2800 लोग घायल हो गए. ख़बरों में दावा किया गया कि ये इज़रायल का हिज़बुल्ला पर प्रॉक्सी अटैक था. खबर फैलते ही पेजर ने कीवर्ड का रूप ले लिया. पेजर के अविष्कार की कहानी जुड़ी है वर्ल्ड वॉर 2, अमेरिका की जासूसी एजेंसी, और एक बच्चे के रेडियो प्रेम से. एक बच्चा जो बड़ा होकर एक रोज़ ऐलान करता है,
"अगर मैंने इस तकनीक को पेटेंट कर लिया होता, बिल गेट्स मुझे देखते हुए अपनी कुर्सी से खड़े हो जाते.” क्या है पेजर की कहानी? कैसे हुआ इसका आविष्कार? ये काम कैसे करता है? जानने के लिए देखें पूरा वीडियो.