The Lallantop

बिहार में BJP-JDU में सीटों पर बात बन गई, चिराग, मांझी और कुशवाहा का भी हिस्सा तय!

NDA में शामिल सभी पार्टियों मसलन बीजेपी, जेडीयू, HAM, LJP (रामविलास), और RLM ने Nitish Kumar के नाम पर सहमति दे दी है. सीटों की अदला-बदली होने की संभावना है.

post-main-image
एनडीेए में सीट शेयरिंग का फॉर्मूला लगभग तय हो गया है. (इंडिया टुडे, एक्स)

बिहार में अक्टूबर-नवंबर में विधानसभा चुनाव (Bihar Vidhansabha Chunav) होने हैं. इस बीच 28 अप्रैल को केंद्रीय मंत्री और HAM पार्टी के मुखिया जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) ने गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) से मुलाकात की और उनके सामने सीटों की अपनी दावेदारी रखी. अंदरखाने चिराग पासवान (Chirag Paswan) भी हालात पर नजर बनाए हुए है. और उपेंद्र कुशवाहा (Upendra Kushwaha) भी सियासी गोलबंदी में जुटे हैं. इस बीच सूत्र बता रहे हैं कि NDA एलायंस के बड़े पार्टनर जदयू-बीजेपी ने सीट बंटवारे और चुनाव में जाने का ब्लूप्रिंट तैयार कर लिया है. और अब इस पर बाकी सहयोगियों को भरोसे में लिया जा रहा है. 

2020 की तर्ज पर सीट बंटवारा 

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक NDA में शामिल कुछ पार्टियां 2020 विधानसभा चुनाव और 2024 लोकसभा चुनाव के नतीजे के आधार पर सीटों का दावा कर रही हैं. लेकिन सूत्रों की माने तो NDA में सीट बंटवारा 2020 के फॉर्मूले पर ही होगा. इस चुनाव से पहले अलायंस की बड़ी पार्टियां बीजेपी और जेडीयू ने आपस में सीटें बांट ली थी. फिर बाद में जेडीयू ने अपने कोटे से HAM को 7 और बीजेपी ने VIP को 11 सीटें दी थीं.

इस बार भी सीट बंटवारे का यही फॉर्मूले रहने वाला है. पहले दोनों पार्टियां अपने बीच सीटों का बंटवारा करेगी. और इसके बाद बीजेपी अपने कोटे से चिराग पासवान की LJP (रामविलास)को सीटें दे सकती है. और जेडीयू अपने कोटे से जीतनराम मांझी की HAM और उपेंद्र कुशवाहा की RLM को सीटें दे सकती है.

जेडीयू- बीजेपी 100 सीट से नीचे नहीं जाएंगे

NDA से जुड़े सूत्रों के मुताबिक कौन सी पार्टी कितनी सीट लड़ेगी इसकी लिस्ट भी लगभग तैयार है. बीजेपी और जेडीयू किसी भी हाल में 100 सीट से नीचे नहीं जाएगी. और NDA गठबंधन में जेडीयू सांकेतिक तौर पर बड़े भाई की भूमिका में रहेगी.

सीट बंटवारे की बात करें तो सूत्रों के मुताबिक, जेडीयू के खाते में 101 सीट जाएगी. वहीं बीजेपी 100 सीट पर चुनाव लड़ सकती है. इसके अलावा LJP चिराग के खाते में 25 सीट, जीतनराम मांझी की HAM को 10 सीट और उपेंद्र कुशवाहा की RLM को 8 सीट मिलने के आसार हैं.

इसके अलावा NDA ने अंदरखाने मुकेश सहनी के साथ बातचीत का चैनल भी खुला रखा है. उनकी NDA में वापसी की स्थिति में चिराग, उपेंद्र कुशवाहा और जीतन राम मांझी की सीटें घट सकती हैं. सहनी को बीजेपी अपने कोटे से एडजस्ट कर सकती है.

LJP नेता चिराग पासवान को भी इस बात का इल्म है. इसलिए वो NDA गठबंधन पर दबाव बनाने में जुट गए हैं. उनके ‘बिहार बुला रहा है’ वाले बयान को इसी कवायद का हिस्सा बताया जा रहा है. इसके अलावा जीतन राम मांझी और उपेंद्र कुशवाहा भी अपने प्रोजेक्शन में जुटे हैं. लेकिन बिहार तक से जुड़े इंद्रमोहन की मानें तो जदयू और बीजेपी किसी भी घटक दल को इतनी सीट देने के मूड में नहीं है कि बाद में वो NDA के लिए मुश्किल खड़ी करें. या फिर सरकार बनाने के लिए उन पर निर्भर रहना पड़े.

सीटों की अदला बदली भी की जाएगी

बीजेपी से जुड़े सूत्रों के मुताबिक NDA में इस बार परंपरागत सीटों की अदला बदली भी हो सकती है. यानी NDA का कोई घटक दल अपनी किसी परंपरागत सीट से दो बार से चुनाव हार रहा है तो उसे सहयोगी दल को दिया जा सकता है. सीट की अदला बदली के दौरान जातीय समीकरण ना बिगड़े इसका भी खास ध्यान रखा जाएगा. साथ ही क्षेत्र में कैंडिडेट की पकड़ भी एक गौर करने वाला पहलू होगा. 

नीतीश ही होंगे गठबंधन का चेहरा

NDA में शामिल सभी पार्टियों मसलन बीजेपी, जेडीयू, HAM, LJP (रामविलास), और RLM ने नीतीश कुमार के नाम पर सहमति दे दी है. यानी NDA गठबंधन नीतीश कुमार के नेतृत्व में ही चुनावी मैदान में जाएगी.

ये भी पढ़ें - राहुल गांधी के 'कन्हैया और राजेश' प्लान की इनसाइड स्टोरी, जो RJD को 'नाराज' कर गया

पिछली बार सहनी साथ थे, चिराग अलग लड़े थे

साल 2020 के विधानसभा चुनाव में जेडीयू 115 सीटों पर लड़ी थी. और 43 सीट जीती थी. वहीं बीजेपी ने 110 सीटों पर लड़कर 71 सीटें हासिल की थी. वहीं जीतन राम मांझी की HAM के खाते में 7 में से 4 सीट गई थी. और मुकेश सहनी की विकासशील इंसान पार्टी (VIP) ने 11 में से 4 सीटें जीती थी. 

NDA गठबंधन की सीटों की टैली 125 के आंकड़े तक पहुंची थी, जो कि बहुमत के आंकड़े से मात्र 3 सीट ही अधिक थी. इस बार मुकेश सहनी की VIP अभी तक NDA से बाहर है. वहीं पिछली बार एकला चलने वाले चिराग पासवान और ओवैसी के साथ गठबंधन करने वाले उपेंद्र कुशवाहा NDA के साथ हैं.

वीडियो: नेतानगरी: नीतीश कुमार अपने बेटे को राजनीति में लाने के लिए कैसे तैयार हुए? कन्हैया कुमार के दौरे के पीछे का क्या मकसद है?