जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में मंगलवार, 22 अप्रैल को पर्यटकों पर हुए आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर दिया. इस हमले में 28 निर्दोष लोगों की जान चली गई. इस हमले का आरोप 'द रेजिस्टेंस फ्रंट' (TRF) पर लगा है, जो आतंकवादी संगठन 'लश्कर-ए-तैयबा' (LeT) का ही एक प्रॉक्सी संगठन है. इस हमले के मास्टरमाइंड के तौर पर जिस आतंकी का नाम सामने आया है, वो है सैफुल्लाह कसूरी उर्फ खालिद.
हाफिज सईद के इस गुर्गे ने बनाया पहलगाम हमले का प्लान, पूरी कुंडली जान लें
मंगलवार, 22 अप्रैल को Jammu Kashmir के Pahalgam में पर्यटकों पर गोलीबारी हुई, जिसमें 26 लोगों की मौत हो गई. इस आतंकवादी हमले का आरोप 'The Resistance Front' (TRF) पर लगा है. आइए जानते हैं कि इस हमले का मास्टरमाइंड कौन है.

इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, सैफुल्लाह कसूरी पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा का एक सीनियर कमांडर है. उसे 'खालिद' के नाम से भी जाना जाता है. यह वही लश्कर है, जिसने मुंबई हमलों से लेकर कश्मीर के कई बड़े आतंकी हमलों को अंजाम दिया है. सैफुल्लाह, लश्कर के संस्थापक और भारत में वांटेड आतंकी हफीज सईद का बेहद करीबी माना जाता है.
NDTV की रिपोर्ट के मुताबिक, सैफुल्लाह पाकिस्तान के पंजाब के कसूर जिले के शंगमंगा गांव का रहने वाला है. राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) उसे एक 'कट्टर आतंकवादी' बताती है. उसके सिर पर 10 लाख रुपये का भी इनाम है. सैफुल्लाह अक्सर पाकिस्तान के गुजरांवाला इलाके में देखा जाता है और सफेद रंग की एक लग्जरी गाड़ी में चलता है. उसकी सुरक्षा में लश्कर के आतंकवादी हर वक्त आधुनिक हथियारों से लैस रहते हैं.

भारतीय खुफिया एजेंसियों के मुताबिक, पहलगाम हमले की पूरी साजिश सैफुल्लाह कसूरी ने रची थी. जबकि TRF ग्रुप को आसिफ फौजी लीड कर रहा था. इस हमले को कथित तौर पर चार-पांच आतंकवादियों ने अंजाम दिया था, जिसमें पाकिस्तानी आतंकवादी भी शामिल थे.
इन आतंकियों ने पर्यटकों पर हमला करने के लिए सही वक्त का इंतजार किया. ये हमला उस समय किया गया जब एक तरफ अमेरिका के उपराष्ट्रपति जेडी वेंस भारत के दौरे पर थे, और दूसरी तरफ भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सऊदी अरब के विदेश दौरे पर थे.
लश्कर के पेशावर HQ का हेडयूएस ट्रेजरी के अनुसार, सैफुल्लाह कसूरी को मिल्ली मुस्लिम लीग (MML) के अध्यक्ष के तौर पर पेश किया गया. यह हाफिज सईद के जमात-उद-दावा (JuD) की पॉलिटिकल विंग है. 8 अगस्त, 2017 को उसने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान पार्टी के गठन, मकसद और लक्ष्यों के बारे में बात की थी. सैफुल्लाह कसूरी, लश्कर-ए-तैयबा (LeT) के पेशावर हेडक्वार्टर का भी हेड है. उसने JuD के तहत सेंट्रल पंजाब प्रोविंस के लिए कॉर्डिनेशन कमेटी में काम किया है.
'द रेजिस्टेंस फ्रंट' (TRF) को 2019 में अनुच्छेद 370 हटने के बाद बनाया गया था. इसका मकसद कश्मीर में आतंक को एक 'लोकल रेजिस्टेंस' के रूप में दिखाना था, ताकि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इसे आवाज मिल सके. भारत सरकार ने TRF को आतंकवादी संगठन घोषित कर रखा है. यह संगठन युवाओं को ऑनलाइन भर्ती करता है और हथियारों की तस्करी, घुसपैठ जैसे कामों में लगा रहता है.
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