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महाराष्ट्र चुनाव: '5 नहीं तो 25', सपा की ये मांग MVA का सारा खेल ना बिगाड़ दे

सपा के प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम आज़मी ने चेतावनी देते हुए कहा कि सीट बंटवारे से पहले उन्हें बात करनी चाहिए, ये लोग पहले बांट चुके हैं और फिर अब हमें सीट देंगे.

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अखिलेश यादव के साथ महाराष्ट्र सपा के प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम काज़मी. (फाइल फोटो)

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में महा विकास अघाडी (MVA) ने अधिकतर सीटों का बंटवारा कर लिया है. लेकिन INDIA गठबंधन की सहयोगी समाजवादी पार्टी सीट बंटवारे को लेकर नाराज चल रही है. नाराजगी ऐसी कि अब पार्टी ने बात नहीं बनने पर 25 सीटों पर उम्मीदवार उतारने की चेतावनी दे दी है. MVA गठबंधन ने 270 सीटों पर उम्मीदवार फाइनल करने का दावा किया था. कहा था कि बाकी 18 सीटें INDIA गठबंधन के सहयोगियों के लिए छोड़ी जाएंगी. लेकिन अब सपा खुलकर मैदान में है.

समाजवादी पार्टी पहले ही राज्य में 5 सीटों पर उम्मीदवार की घोषणा कर चुकी है. 19 अक्टूबर को अखिलेश यादव ने धुले सीट से अपने उम्मीदवार इरशाद जागीरदार के नाम की घोषणा की थी. इससे एक दिन पहले चार और सीटों पर उम्मीदवार उतारे गए थे. पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम आज़मी मानखुर्द शिवाजी नगर से ही चुनाव लड़ने वाले हैं. अखिलेश यादव ने कहा था कि महाराष्ट्र में सपा ने 12 सीटों की मांग की है.

25 अक्टूबर को सीट बंटवारे को लेकर अबू आज़मी ने शरद पवार से मुलाकात की. इस मुलाकात के बाद इंडिया टुडे के रिपोर्टर मुस्तफा शेख ने अबू आसिम आज़मी से बात की. आज़मी ने बताया, 

"पांच सीटें तो हमारी पक्की हैं. एक-दो सीट हम और मांग रहे हैं. मैं गारंटी से कह रहा हूं कि मैं जो 5 सीटें पक्की की हैं, वो अगर समाजवादी पार्टी को मिलेगी तो महा विकास अघाडी के 5 विधायक बढ़ेंगे. अगर आपने इधर-उधर किया तो आपके 5 विधायक कम हो जाएंगे."

क्या सपा ने शरद पवार से बात की है? इस पर अबू आज़मी ने कहा कि उन्होंने (शरद पवार) कहा कि अभी कांग्रेस और शिवसेना के हाथ में कुछ सीटें हैं.

आज़मी ने चेतावनी देते हुए कहा कि सीट बंटवारे से पहले उन्हें बात करनी चाहिए, ये लोग पहले बांट चुके हैं और फिर अब हमें सीट देंगे. उन्होंने कहा,

"ये कोई तरीका नहीं है. पहले बात करनी चाहिए थी. अब कल (26 अक्टूबर) दोपहर तक रुकने को बोला गया है. अगर कल दोपहर तक वे नहीं मानेंगे तो हम 25 सीटों पर उम्मीदवार उतारेंगे. मैं किसी को डरा नहीं रहा हूं. हम देश की तीसरी सबसे बड़ी (लोकसभा सांसदों के हिसाब से) राजनीतिक पार्टी हैं. हमें उम्मीदवारों को उतारने का हक है."

पिछले चुनाव में 2 विधायक चुनकर आए थे

2019 के विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी 7 सीटों पर चुनाव लड़ी थी और 2 पर जीत मिली थी. अब इस चुनाव में नामांकन की आखिरी तारीख 29 अक्टूबर है. ऐसे में पार्टी जल्द कोई फैसला कर सकती है.

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आज़मी ने आगे कहा कि उन्हें भरोसा नहीं है, ये लोग कई बार धोखा दे चुके हैं इसलिए इस बार वे पहले से अलर्ट हैं. क्या अखिलेश यादव ने उन्हें कोई निर्देश दिया है? इस पर आज़मी ने कहा कि अखिलेश यादव ने उन्हें फैसले लेने की पूरी छूट दी है.

"हरियाणा की तरह सिर पकड़ेंगे"

उन्होंने कहा कि अलग-अलग लड़ने पर मुस्लिम वोटों का बंटवारा होगा. अगर अल्पसंख्यक को सीटें नहीं मिलेंगी, उन्हें गुस्सा तो आएगा ही, दुख तो होगा ही. लेकिन अगर अल्पसंख्यकों की दो पार्टियां लड़ेगी तो वोट बंटेगा. फिर हरियाणा की तरह सिर पकड़ कर बैठेंगे और चिंतन-मनन करेंगे.

इससे पहले हरियाणा में भी समाजवादी पार्टी की कांग्रेस के साथ सीट बंटवारे पर बात नहीं बन पाई थी. नाराज चल रही पार्टी ने हरियाणा चुनाव परिणाम के एक दिन बाद ही यूपी में होने वाले विधानसभा उपचुनाव के लिए 6 उम्मीदवारों की घोषणा कर दी थी.

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